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आरआईएनएल, विशाखापत्तनम इस्पात संयंत्र की धमन भट्टी-1 ने अपनी स्थापना के बाद से अब तक का सबसे अच्छा दैनिक उत्पादन दर्ज किया

दृढ़ता और उमंग भरे उत्साह के साथ, आरआईएनएल विशाखापत्तनम इस्पात संयंत्र की धमन भट्टी-1 (गोदावरी) इकाई ने 15 जनवरी 2023 को बीएफ 1 (गोदावरी) से हॉट मेटल का 8100 टन का रिकॉर्ड उत्पादन हासिल करके एक और उपलब्धि हासिल की। यह बीएफ-1 द्वारा अपनी स्थापना के बाद से हासिल किया गया अबतक का सबसे अच्छा दैनिक उत्पादन है। धमन भट्टी-1 द्वारा 8019 टन का पिछला सर्वश्रेष्ठ दैनिक उत्पादन 18 फरवरी, 2022 को हासिल किया गया था।

श्री अतुल भट्ट, सीएमडी, आरआईएनएल ने रिकॉर्ड उत्पादन हासिल करने के लिए आरआईएनएल की इस इकाई को बधाई दी।

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प्रधानमंत्री ने अग्निवीरों के पहले बैच को संबोधित किया

प्रधानमंत्री मोदी ने आज वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से तीनों सेवाओं के उन अग्निवीरों के पहले बैच को संबोधित किया, जिन्होंने अपना बुनियादी प्रशिक्षण शुरू कर दिया है।

प्रधानमंत्री ने इस पथ-प्रदर्शक अग्निपथ योजना के अग्रणी होने पर अग्निवीरों को बधाई दी। उन्होंने इस बारे में प्रकाश डाला कि यह परिवर्तनकारी नीति हमारे सशस्त्र बलों को मजबूत बनाने और उन्हें भविष्य में आने वाली चुनौतियों के लिए तैयार करने में एक ‘गेम चेंजर’ साबित होगी। प्रधानमंत्री ने इस बात की पुष्टि की कि युवा अग्निवीर सशस्त्र बलों को और अधिक युवा और तकनीक रूप से व्‍यावहारिक बनाएंगे।

अग्निवीरों की क्षमता की सराहना करते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि उनकी भावना सशस्त्र बलों की वीरता को दर्शाती है, जिसने सदैव राष्ट्र के झंडे को ऊंचा रखा है। उन्होंने कहा कि इस अवसर से उन्हें जो अनुभव प्राप्त होगा, वह जीवन भर उनके लिए गौरव का स्रोत सिद्ध होगा।

प्रधानमंत्री ने कहा कि नया भारत एक नए जोश से भरा हुआ है और हमारे सशस्त्र बलों को आधुनिक बनाने के साथ-साथ आत्मनिर्भर बनाने के प्रयास किए जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि 21वीं सदी में युद्ध लड़ने के तौर-तरीकों में बदलाव हो रहा है। संपर्क रहित युद्ध के नए मोर्चों और साइबर युद्ध की चुनौतियों पर चर्चा करते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि तकनीकी रूप से सक्षम सैनिक हमारे सशस्त्र बलों में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएंगे। उन्होंने कहा कि विशेष रूप से युवाओं की वर्तमान पीढ़ी में यह क्षमता है, इसलिए अग्निवीर आने वाले समय में हमारे सशस्त्र बलों में महत्‍वपूर्ण भूमिका निभाएंगे।

प्रधानमंत्री ने यह भी बताया कि यह योजना किस प्रकार महिलाओं को भी अधिक सशक्त बनाएगी। उन्होंने इस बात पर प्रसन्नता जाहिर की कि किस प्रकार महिला अग्निवीर नौसेना का गौरव बढ़ा रही हैं। उन्‍होंने कहा कि वह तीनों सेनाओं में महिला अग्निवीरों को देखने के लिए बहुत उत्सुक हैं। प्रधानमंत्री ने सियाचिन में तैनात की गई महिला सैनिकों और आधुनिक लड़ाकू विमानों को चलाने वाली महिला पायलटों का उदाहरण देते हुए उल्‍लेख किया कि किस प्रकार महिलाएं विभिन्न मोर्चों पर सशस्त्र बलों का नेतृत्व कर रही हैं।

प्रधानमंत्री ने कहा कि विभिन्न क्षेत्रों में तैनाती से उन्हें विविध अनुभव प्राप्त करने का अवसर मिलेगा और वे उन्हें विभिन्न भाषाओं और संस्कृतियों तथा जीवन जीने के तरीकों को भी सीखने का प्रयास करना चाहिए। उन्होंने कहा कि टीम वर्क और नेतृत्व कौशल का सम्मान उनके व्यक्तित्व में एक नये आयाम का सृजन करेगा। उन्होंने अग्निवीरों का अपनी पसंद के क्षेत्र में अपने कौशल को बेहतर बनाने के लिए काम करते हुए नई चीजों को सीखने के लिए उत्सुक बने रहने का आह्वान किया।

युवाओं और अग्निवीरों की क्षमता की सराहना करते हुए प्रधानमंत्री ने यह कहते हुए अपना संबोधन समाप्त किया कि आप ही हैं जो 21वीं सदी में राष्ट्र को नेतृत्व प्रदान करने जा रहे हैं।

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दयानंद गर्ल्स पीजी कॉलेज की राष्ट्रीय सेवा योजना इकाई ने *विवेकानंद जयंती* ‘राष्ट्रीय युवा दिवस’ के रुप में मनाया

कानपुर 12 जनवरी भारतीय स्वरूप संवाददाता, राष्ट्रीय सेवा योजना इकाई, दयानंद गर्ल्स पीजी कॉलेज, कानपुर के द्वारा आज 12 जनवरी को *विवेकानंद जयंती* ‘राष्ट्रीय युवा दिवस’ के रुप में मनाया गया। यह 38वां युवा दिवस तथा स्वामी विवेकानंद जी की 160वीं जयंती थी।
कार्यक्रम का शुभारंभ प्राचार्या प्रो. अर्चना वर्मा ने विवेकानंद जी की तस्वीर पर माल्यार्पण करके किया। कार्यक्रम अधिकारी डॉ संगीता सिरोही ने अपने वक्तव्य में बताया कि स्वामी विवेकानंद युवाओं के प्रेरणा स्रोत है। एनएसएस की छात्रा अदीबा व श्रेया ने स्वामी विवेकानंद के जीवन परिचय व विचारों से समस्त छात्राओं को अवगत कराया कार्यक्रम में महाविद्यालय की समस्त छात्राओं तथा प्राध्यापिकाओ विशेष रुप से डॉ. वीनू टंडन, डॉ. मनीषी पांडे, डॉ मनीषी, डॉ अंजना श्रीवास्तव, डॉ रुचि व डॉ. श्वेता गोंड की उपस्थिति सराहनीय रही।

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एस. एन. सेन बी. वी. पी. जी. कॉलेज तथा भारतीय विचारक समिति के संयुक्त तत्त्वाधान में स्वामी विवेकानंद जयंती के उपलक्ष्य में राष्ट्रीय युवा दिवस मनाया गया

कानपुर 12 जनवरी भारतीय स्वरूप संवाददाता, एस. एन. सेन बी. वी. पी. जी. कॉलेज तथा भारतीय विचारक समिति के संयुक्त तत्त्वाधान में स्वामी विवेकानंद जयंती के उपलक्ष्य में राष्ट्रीय युवा दिवस आज दिनांक 12 जनवरी को महाविद्यालय सभागार में उत्साहपूर्वक मनाया गया। कार्यक्रम का शुभारंभ मुख्य अतिथि सी. एस. जे. एम. यू. के सी. डी. सी. प्रो. राजेश कुमार द्विवेदी, महाविद्यालय सचिव श्री पी. के. सेन, प्राचार्या प्रो. सुमन, मोटिवेशनल स्पीकर श्री अरुणेंद्र सोनी, अतिथि वक्ता प्रो. आर. पी. दुबे, भारतीय विचारक समिति के निदेशक बलराम नरूला के द्वारा दीप प्रज्ज्वलित कर किया गया। प्राचार्या महोदया ने सफल कार्यक्रम के आयोजन हेतु महाविद्यालय परिवार को बधाई देते हुए सभी अतिथियों को उनकी उपस्थिति के लिए धन्यवाद ज्ञापित किया। कार्यक्रम का संचालन प्रो. चित्रा सिंह तोमर तथा प्रो. प्रीति पांडेय के द्वारा संयुक्त रूप से किया । मंच सज्जा में डॉ. रचना निगम, प्रेस समिति में डॉ. प्रीति सिंह, डॉ. मीनाक्षी व्यास तथा डॉ. अनामिका आदि पदाधिकारियों ने सक्रिय भूमिका का निर्वहन किया। इस अवसर पर संगीत की छात्राओं ने “सरस्वती वंदना” तथा “देश हमे देता है सब कुछ, हम भी तो कुछ देना सीखें” प्रस्तुत किया तो एनसीसी कैडेट्स ने अतिथियों को “गार्ड ऑफ ऑनर” दिया। भारतीय विचारक समिति के महामंत्री उमेश दीक्षित ने अपनी समिति के सामाजिक कार्यों बारे मे विस्तार से जानकारी दी । महाविद्यालय की चार शिक्षिकाओं प्रो. निशा वर्मा, प्रो. मीनाक्षी व्यास, श्रीमती किरन व डॉ. अनामिका को विचारक समिति की नवीन सदस्यता ग्रहण करने पर सम्मानित किया गया। इस अवसर पर समस्त शिक्षिकाओं एवम् छात्राओं की उपस्थिति प्रशंसनीय रही।

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केंद्रीय मंत्री डॉ. जितेंद्र सिंह ने नेशनल मीडिया सेंटर, दिल्ली में राष्ट्रीय विज्ञान दिवस 2023 की विषयवस्तु “वैश्विक कल्याण के लिए वैश्विक विज्ञान” का अनावरण किया

केंद्रीय विज्ञान और प्रौद्योगिकी राज्य मंत्री एवं पृथ्वी विज्ञान राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार),  प्रधानमंत्री कार्यालय, कार्मिक, लोक शिकायत, पेंशन, परमाणु ऊर्जा और अंतरिक्ष राज्य मंत्री डॉ जितेंद्र सिंह ने आज यहां राष्ट्रीय मीडिया केंद्र (नेशनल मीडिया सेंटर), नई दिल्ली में “वैश्विक कल्याण के लिए वैश्विक विज्ञान” (ग्लोबल साइंस फॉर ग्लोबल वेलबीइंग)” शीर्षक से “राष्ट्रीय विज्ञान दिवस 2023” के लिए विषयवस्तु जारी की।

मंत्री महोदय ने कहा कि भारत के 2023 में प्रवेश करने के साथ ही यह विषय भारत की उभरती वैश्विक भूमिका और अंतर्राष्ट्रीय क्षेत्र में उसकी बढ़ती दृश्यता को इंगित करता है।

डॉ. जितेंद्र सिंह ने राष्ट्रीय विज्ञान दिवस की विषयवस्तु, सामग्री और आयोजनों पर उनके सावधानीपूर्वक मार्गदर्शन के लिए प्रधानमंत्री नरेन्‍द्र मोदी के प्रति गहरी कृतज्ञता व्यक्त की।

डॉ. जितेंद्र सिंह ने कहा कि “वैश्विक कल्याण के लिए वैश्विक विज्ञान” का विषय भारत के जी-20 की अध्यक्षता संभालने के साथ पूरी तरह से मेल खाता है जिससे वह वैश्विक दक्षिण यानी एशिया, अफ्रीका और दक्षिण अमेरिका महाद्वीप के विकासशील देशों की आवाज बनेगा।

डॉ. जितेंद्र सिंह ने कहा कि भारत ने प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्‍व में राष्ट्रों के समुदाय में वैश्विक दृश्यता प्राप्त की है और अब हम वैश्विक चुनौतियों का समाधान करने के लिए परिणाम उन्मुख वैश्विक सहयोग के लिए तैयार हैं। उन्होंने कहा, “जब चिंताओं, चुनौतियों और बेंचमार्क ने वैश्विक आयाम ग्रहण कर लिया है, तब निवारण भी वैश्विक प्रकृति का होना चाहिए।”

राष्ट्रीय विज्ञान दिवस (एनएसडी) हर वर्ष 28 फरवरी को ‘रमन प्रभाव’ की खोज के उपलक्ष्य में मनायाजाता है। भारत सरकार ने 1986 में 28 फरवरी को राष्ट्रीय विज्ञान दिवस (एनएसडी) के रूप में नामित किया। इसी  दिन सर सी.वी. रमन ने ‘रमन प्रभाव’ की खोज की घोषणा की थी, जिसके लिए उन्हें 1930 में नोबेल पुरस्कार से सम्मानित किया गया था। इस अवसर पर पूरे देश में विषय आधारित विज्ञान संचार गतिविधियों का आयोजन किया जाता है।

डॉ. जितेंद्र सिंह ने याद किया कि मोदी जी ने पिछले वर्ष सभी वैज्ञानिकों और विज्ञान के प्रति उत्साही लोगों को राष्ट्रीय विज्ञान दिवस की बधाई दी थी और विश्व कल्याण का आह्वान किया था, जब उन्होंने कहा था कि “आइए हम अपनी सामूहिक वैज्ञानिक जिम्मेदारी को पूरा करने और मानव प्रगति के लिए विज्ञान की शक्ति का लाभ उठाने के प्रति अपनी प्रतिबद्धता की पुष्टि करें”।

डॉ. जितेंद्र सिंह ने बताया कि ” वैश्विक कल्याण के लिए वैश्विक विज्ञान” (ग्लोबल साइंस फॉर ग्लोबल वेलबीइंग)” विषयवस्तु को वैश्विक संदर्भ में वैज्ञानिक मुद्दों की सार्वजनिक प्रशंसा बढ़ाने के उद्देश्य से चुना गया है और जिसका वैश्विक भलाई पर प्रभाव भी पड़ रहा है।

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उन्होंने कहा कि आज भारतीय वैज्ञानिक सफलताएं प्रयोगशाला से धरातल तक पहुंच गई हैं और अब वास्तव में जन सामान्य के लिए “जीवन में सुगमता” लाने के लिए हर घर में विज्ञान के अनुप्रयोगों का उपयोग किया जा रहा है। मंत्री महोदय ने कहा कि यह देश और विदेश में लोगों और वैज्ञानिक बिरादरी को एक साथ आने, एक साथ काम करने और मानव जाति के कल्याण  के उद्देश्य से विज्ञान का प्रयोग करने की प्रसन्नता का अनुभव करने के अवसर प्रदान करने के लिए एक नए युग की शुरुआत करता है।

डॉ. जितेंद्र सिंह ने कहा कि देश में विज्ञान और प्रौद्योगिकी पारिस्थितिकी तंत्र ने पिछले साढ़े आठ वर्षों में देश के लिए दूरगामी प्रभाव वाले कई नए ऐतिहासिक सुधारों की शुरुआत करके तेजी से प्रगति की है। उन्होंने सरकार के इस रुख को भी दोहराया कि विज्ञान पर नए सिरे से ध्यान केंद्रित करने के साथ, भारत औद्योगीकरण और तकनीकी विकास में एक वैश्विक नेता बनने की दिशा में उत्तरोत्तर आगे बढ़ रहा है। मंत्री महोदय ने कहा कि भारत की नई योजना, जिसे विज्ञान, प्रौद्योगिकी और नवाचार नीति 2020 कहा जाता है- द्वारा विज्ञान को अधिक प्रभावी ढंग से और विशेषज्ञों द्वारा संचालित करने की योजना है।

भारत सरकार के प्रधान वैज्ञानिक सलाहकार, डॉ. अजय कुमार सूद ने “वैश्विक कल्याण के लिए वैश्विक विज्ञान” विषय के पीछे के तर्क को समझाया और कहा कि कोविड-19 के मद्देनजर वैश्विक चुनौतियों से लड़ने के लिए विश्व अब और अधिक निकट आ गया है। डॉ. सूद ने विस्तार से यह भी बताया कि 28 फरवरी 1928 को प्रतिष्ठित भारतीय भौतिक विज्ञानी सी.वी. रमन ने एक महत्वपूर्ण खोज की थी, जिसे रमन प्रभाव के नाम से जाना जाता है। खोज यह थी कि जब रंगीन प्रकाश की किरण किसी द्रव में प्रवेश करती है, तो उस द्रव द्वारा प्रकीर्णित प्रकाश का एक अंश भिन्न रंग का होता है यह। रमन ने दिखाया कि इस बिखरे हुए प्रकाश की प्रकृति विद्यमान  नमूने के प्रकार पर निर्भर थी।

विज्ञान और प्रौद्योगिकी विभाग के सचिव श्री एस. चंद्रशेखर ने अपने स्वागत भाषण में कहा कि महत्वपूर्ण वैज्ञानिक दिवसों को मनाने से जुड़े कार्यक्रमों से समाज में वैज्ञानिक जागरूकता आती है। कई संस्थान अपनी प्रयोगशालाओं के लिए ओपन हाउस आयोजित करते हैं और छात्रों को किसी विशेष अनुसंधान प्रयोगशाला / संस्थान में उपलब्ध आजीविका के अवसरों के बारे में जानकारी देते हैं। विज्ञान और प्रौद्योगिकी विभाग (डीएसटी) विज्ञान और प्रौद्योगिकी विभाग से जुड़े वैज्ञानिक संस्थानों, अनुसंधान प्रयोगशालाओं और स्वायत्त वैज्ञानिक संस्थानों में पूरे देश में राष्ट्रीय विज्ञान दिवस के उत्सव का समर्थन, उत्प्रेरण और समन्वय करने के लिए एक केन्द्रीय (नोडल) एजेंसी के रूप में कार्य करता है। विज्ञान और प्रौद्योगिकी विभाग (डीएसटी) के अंतर्गत राष्ट्रीय विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी संचार हेतु राष्ट्रीय परिषद (नेशनल काउंसिल फॉर साइंस एंड टेक्नोलॉजी कम्युनिकेशन–एनसीएसटीसी) ने व्याख्यान, क्विज़, ओपन हाउस आदि के आयोजन के लिए राज्यों की विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी (एसएंडटी) परिषदों और विभागों के माध्यम से देश भर में विभिन्न कार्यक्रमों का समर्थन किया है।

एनसीएसटीसी, डीएसटी के प्रमुख डॉ. मनोरंजन मोहंती और विज्ञान और प्रौद्योगिकी मंत्रालय के अन्य वरिष्ठ अधिकारियों ने आज के कार्यक्रम में भाग लिया।

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जिलाधिकारी ने प्रतिष्ठानों की साप्ताहिक बंदी का दिन निश्चित किया

कानपुर नगर, दिनांक 10 जनवरी, 2023 (सू0वि0)*
उत्तर प्रदेश दुकान एवं वाणिज्य अधिष्ठान अधिनियम, 1962 की उपधारा 2 में निहित अधिकारों का प्रयोग करते हुए जिलाधिकारी कानपुर नगर विशाख जी० ने आदेश जारी किया है कि नगर के कल्याणपुर, हरजिन्दर नगर, जाजमऊ, लाल बंगला, गुमटी नं0-5 रेलवे क्रासिंग से कालपी रोड तक, नसीमाबाद, बम्बारोड, कौशलपुरी, श्रीनगर, दर्शनपुरवा, रामकृष्ण नगर, रंजीत नगर, नारायण पुरवा, सरोजनी नगर, जे0के0 मन्दिर की दुकाने एवं समस्त अन्तरनिहित क्षेत्री की दुकानें एवं वाणिज्य अधिष्ठान की साप्ताहिक बन्दी दिन सोमवार को रहेगी।
उन्होंने बताया कि लेबर कालोनी, बाबू पुरवा, किदवई नगर, बाकरगंज बाजार, बगाही, गोविन्द नगर, सीसामऊ बाजार, पी0रोड, जवाहर नगर, नेहरू नगर, चन्द्र नगर, ब्रम्हनगर, शास्त्री नगर, विजय नगर, ग्वालटोली के समस्त बाजार, शीशमहल टाकीज से लेकर गांधी नगर चौराहे तक, चन्द्रिका देवी बाजार पी0रोड से दर्शन पुरवा की मण्डी के सामने की समस्त दुकान एवं वाणिज्य अधिष्ठान, राशन की समस्त दुकाने, जे०के० इम्पलाइज को ओपरेटिव लिमिटेड, जे0के0कमला क्लब के प्रागंण मे स्थित बाइबिल बुक स्टाल, खलासी लाइन की समस्त दुकाने, नाईयों की समस्त दुकाने, विष्णुपुरी बाजार, लेनिन पार्क से आनन्द बाग चौराहा तथा साइड की दुकानो तक शकुन प्रोडक्टस को छोडकर निराला नगर, साकेत नगर, बारादेवी चौराहा, हमीरपुर रोड, गौशाला चौराहा, बर्रा दबौली, गुजैनी, विश्व बैंक, कर्रही, जरौली, जूही, बसन्ती नगर, यशोदा नगर एवं समस्त क्षेत्र के अन्तरनिहित क्षेत्र की साप्ताहिक बन्दी दिन मंगलवार को रहेगी।
नयागंज, चुन्नीगंज, को-आपरेटिव इण्डस्ट्रीयल स्टेट दादा नगर, फजलगंज, मालरोड, चुन्नीगंज चौराहा से मरे कम्पनी चौराहे तक लाला इमली मार्केट, मेस्टन रोड, बिरहाना रोड, आर्य नगर, स्वरूप नगर, अस्सी फीट रोड, गुरूद्वारा चौराहे से ब्रम्ह नगर चौराहे तक, पुराना सीसामऊ, जनरल गंज, काहूकोठी, लाठी मोहाल, मूल गंज, शतरंजी मोहाल, राम नारायण बाजार, हटिया, हास्पिटल रोड, इटावा बाजार, चावल मण्डी, कराची खाना, कुरसवॉ, पटकापुर, कलक्टरगंज, कोपरगंज, लाटूश रोड, नई सड़क, धनकुट्टी, सब्जी मण्डी, कैनाल रोड, चौक, रतनलाल नगर, हरबंश मोहाल, दानाखोरी, हूलागंज, शर्मा सेल्स, कार्पाेरेशन, नेहरू नगर, कुली बाजार, नवाबगंज, पुराना सीसामऊ से कालपी रोड तक, प्रेमनगर, हर्षनगर, चमनगंज, इफितखाराबाद, कानपुर टेनीह मे स्थित सभी वाणिज्य अधिष्ठान, बकरमण्डी मे स्थित समस्त मोटर साइकिल व स्पेयर पार्ट्स की दुकाने, कानपुर समस्त वनस्पति के थोक विक्रेता, पाण्डु नगर, काकादेव पाण्डुनगर की समस्त दुकाने एवं वाणिज्य अधिष्ठान, सरोजनी नगर मे स्थित समस्त आरा मशीने सहित नवीन मार्केट, पी०पी०एन० मार्केट एवं सोमदत्त प्लाजा की साप्ताहिक बन्दी दिन रविवार को रहेगी तथा बिठूर, घाटमपुर एवं बिल्हौर स्थित सभी दुकाने एवं वाणिज्य अधिष्ठान की साप्ताहिक बन्दी दिन बुधवार को रहेगी। उन्होंने बताया कि यह आदेश जनवरी, 2023 से दिसम्बर, 2023 तक लागू रहेंगे।

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समाजसेवी संस्था द्वारा जरूरतमंदों को कम्बल वितरण

कानपुर 10 जनवरी भारतीय स्वरूप संवाददाता समाजसेवी संस्था ने जरूरतमन्द लोगों को भेंट किये कम्बल
कानपुर नगर। समाजसेवी संस्था ‘श्री श्याम सिंह चौहान सेवा संस्थान’ के तत्वावधान में जरूरतमन्द लोगों को हाड़ कपाऊ ठंड से बचने के लिये कम्बल भेंट किये गये।
यह जानकारी देते हुए अमित चौहान (अधिवक्ता) ने बताया कि स्व0 श्याम सिंह चौहान की द्वितीय पुण्य तिथि के अवसर पर जरूरतमन्द क्षेत्रवासियों को कठारा स्थित ग्राम पंचायत भवन में क्षेत्रीय विधायक अभिजीत सिंह के कर कमलों द्वारा कम्बल वितरण कार्यक्रम का शुभारम्भ किया गया। इस मौके पर एक सैकड़ा से अधिक लोगों को ठंड से बचाव हेतु कम्बल भेंट किये गये।
कम्बल वितरण कार्यक्रम के दौरान ग्राम प्रधान अरविन्द्र कुशवाहा, समाजसेवी सुनील ब्रम्हचारी, पवन सिंह सहित अन्य लोग मौजूद रहे।

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जेब्राफिश में पाया जाने वाला प्रोटीन, मानव के मेरुदण्ड अस्थिखण्ड में उम्रदराज डिस्क को फिर से पैदा कर सकता है

जेब्राफिश की रीढ़ की हड्डी में पाया जाने वाला एक प्रोटीन, जो डिस्क रखरखाव में सकारात्मक भूमिका निभाता है और मेरुदण्ड अस्थिखण्ड में उम्रदराज डिस्क को फिर से पैदा करने को बढ़ावा देता है, में कमजोर पड़ चुके मानव डिस्क फिर से पैदा करने की प्रक्रिया को बढ़ावा देने संबंधी चिकित्सीय प्रभाव के मौजूद होने की संभावना हो सकती है।

मनुष्यों में, डिस्क स्वाभाविक रूप से कमजोर पड़ जाती है, जिससे पीठ के निचले हिस्से, गर्दन और उपांग में दर्द सहित कई संबंधित स्वास्थ्य संबंधी समस्याएं होती हैं। वर्तमान में, कमजोर पड़ चुके डिस्क के लिए केवल रोगसूचक उपचार उपलब्ध हैं, जिनमें दर्द निवारक या सूजन-रोधी दवाएं शामिल हैं। गंभीर मामलों में डिस्क विस्थापन या डिस्क फ्यूजन सर्जरी की जाती है। इस प्रकार, कमजोर होते डिस्क की गति को कम करने या मनुष्यों में डिस्क को फिर से पैदा करने पर आधारित एक उपचार प्रक्रिया को विकसित करने की तत्काल आवश्यकता है। चिकित्सा परीक्षण मानव डिस्क के कमजोर होते जाने के चरणों से सम्बंधित आवश्यक जानकारी प्रदान करते हैं, लेकिन डिस्क के रखरखाव में भूमिका निभाने वाली कोशिका और आणविक प्रक्रियाओं के बारे में सीमित जानकारी उपलब्ध है। सबसे महत्वपूर्ण बात यह है कि कमजोर होते डिस्क की गति को कम करने या मनुष्यों में डिस्क को फिर से पैदा करने पर आधारित कोई चिकित्सा प्रक्रिया या उपचार ज्ञात नहीं है।

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विज्ञान और प्रौद्योगिकी विभाग के स्वायत्त संस्थान, आगरकर रिसर्च इंस्टीट्यूट (एआरआई), पुणे द्वारा किए गए एक अध्ययन में पता चला है कि अंतर-मेरुदंड डिस्क कोशिकाओं से स्रावित कोशिका कम्युनिकेशन नेटवर्क फैक्टर 2ए (सीसीएन2ए) नामक एक प्रोटीन, कमजोर व उम्रदराज होते डिस्क में डिस्क को फिर से पैदा करने को उत्प्रेरित करता है तथा इसके लिए एफजीएफआर 1-एसएचएच (फाइब्रोब्लास्ट ग्रोथ फैक्टर रिसेप्टर-सोनिक हेजहोग) पाथवे नामक तरीके को संशोधित करके कोशिका प्रसार करता है और कोशिका को संरक्षित करता है।

एक मॉडल जीव के रूप में ज़ेब्राफिश का उपयोग करने वाला यह अध्ययन विवो अध्ययन में पहला है, जो दिखाता है कि अन्तःविकसित सिग्नलिंग कैस्केड को सक्रिय करके कमजोर व उम्रदराज होते डिस्क में डिस्क को फिर से पैदा करने को उत्प्रेरित करना संभव है। वैज्ञानिकों ने यह भी पाया कि सीसीएन2ए- एफजीएफआर 1-एसएचएच, सिग्नलिंग कैस्केड डिस्क के रखरखाव और डिस्क को फिर से पैदा करने की प्रक्रिया में सकारात्मक भूमिका निभाता है। जर्नल, डेवलपमेंट में प्रकाशित इस अध्ययन में आनुवांशिकी और जैव-रसायन दृष्टिकोण का उपयोग किया गया है और यह डिस्क के कमजोर होती प्रक्रिया की गति को धीमा करने या कमजोर हो चुके मानव डिस्क में डिस्क को फिर से पैदा करने की प्रक्रिया को उत्प्रेरित करने के लिए एक नई रणनीति तैयार करने में मदद कर सकता है।

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पिछले 8 वर्षों में किए गए संरचनात्मक सुधारों से भारत को विश्व की शीर्ष तीन अर्थव्यवस्थाओं में स्थान बनाने में मदद मिलेगी: गोयल

केंद्रीय वाणिज्य और उद्योग, उपभोक्ता मामले, खाद्य और सार्वजनिक वितरण और कपड़ा मंत्री पीयूष गोयल ने आज विश्वास जताया कि सरकार द्वारा पिछले 8 वर्षों में किए गए संरचनात्मक सुधारों से भारत को विश्व के शीर्ष तीन विकसित अर्थव्यवस्थाओं में उभरने में सहायता मिलेगी। वह वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से व्हार्टन इंडिया इकोनॉमिक फोरम के 27वें संस्करण के अवसर पर परस्पर बातचीत कर रहे थे। आज के कार्यक्रम का विषय था- अनिश्चितता के युग में भारत का अग्रणी नवाचार।

आने वाले वर्षों में भारत की विकास गाथा का मार्ग प्रशस्त करने वाले सबसे प्रभावशाली आर्थिक सुधारों की चर्चा करते हुए, श्री गोयल ने कहा कि पिछले आठ वर्षों में हुए कई संरचनात्मक परिवर्तनों का तेजी से आगे बढ़ने की भारतीय अर्थव्यवस्था की स्थिति पर महत्वपूर्ण प्रभाव पड़ा है। उन्होंने जीएसटी को महत्वपूर्ण सुधारों में से एक बताया और रेखांकित किया कि चुनौतीपूर्ण वैश्विक परिदृश्य के बावजूद हाल के जीएसटी संग्रह बहुत मजबूत रहे हैं। उन्होंने यह भी उल्लेख किया कि भारत अब एक अधिक ईमानदार, पारदर्शी अर्थव्यवस्था है और लोग अब अपने करों का भुगतान करने के अभ्यस्त हो रहे हैं। उन्होंने कहा कि इन्सॉल्वेंसी एंड बैंकरप्सी कोड (आईबीसी) भी एक महत्वपूर्ण सुधार उपाय है, जिसके परिणामस्वरूप भारत में मजबूत बैंकिंग प्रणाली का निर्माण हुआ है। ये बैंक उद्योग के विकास के लिए संसाधन प्रदान करने में सक्षम रहे हैं। उन्होंने निजीकरण, अर्थव्यवस्था विशेष रूप से, वित्तीय क्षेत्र के डिजिटलीकरण, कानूनों के गैर-अपराधीकरण, व्यापार करने में सुगमता में सक्षम बनाने के लिए अनुपालन के सरलीकरण जैसे सुधारों का भी उल्लेख किया।

इस प्रश्न के उत्तर में कि कौन से क्षेत्र सरकार के लिए रणनीतिक प्राथमिकताएं हैं, श्री गोयल ने कहा कि अवसंरचना, सेमीकंडक्टर, घरेलू विनिर्माण प्राथमिकता वाले कुछ क्षेत्र हैं। उन्होंने यह भी बताया कि प्रधानमंत्री मोदी का फोकस भारत में एक सुदृढ़ अवसंरचना के निर्माण पर है। इस प्रयत्न में निजी क्षेत्र भी योगदान दे रहा है। श्री गोयल ने कहा कि सेमीकंडक्टर भारतीय अर्थव्यवस्था के लिए एक अन्य महत्वपूर्ण क्षेत्र है। इसके अतिरिक्त, एक अन्य महत्वपूर्ण क्षेत्र घरेलू विनिर्माण है और सरकार ने 14 से अधिक क्षेत्रों में भारतीय विनिर्माण को आरंभ करने के लिए पीएलआई स्कीमों की शुरुआत की है। श्री गोयल ने उल्लेख किया कि सरकार निजी क्षेत्र/उद्योग संघों को भी खुद ही यह निर्धारित करने के लिए प्रोत्साहित कर रही है कि उन्हें किन क्षेत्रों में सरकार से सहायता की आवश्यकता है।

रूस और पश्चिमी देशों के बीच तनाव के संबंध में मौजूदा भू-राजनीतिक माहौल पर अपने विचार साझा करते हुए श्री गोयल ने प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के इस विश्वास को दोहराया कि वर्तमान युग युद्ध का युग नहीं होना चाहिए। उन्होंने यह भी कहा कि भारत का मानना है कि इस संकट को हल करने के लिए संवाद और कूटनीति ही एकमात्र रास्ता है और उन्होंने संघर्ष को अतिशीघ्र हल करने की अपील की। उन्होंने इस बात को भी रेखांकित किया कि प्रधानमंत्री श्री मोदी ने इस मुद्दे पर विश्व के नेताओं के साथ कई बार बातचीत की है। भारत ने बाली में जी-20 की बैठक में सर्वसहमति बनाने की कोशिश में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। श्री गोयल ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री मोदी के हस्तक्षेप के कारण, विश्व अर्थव्यवस्थाएं जी20 में एक परिणाम पर पहुंचने में सक्षम रहीं और उन्होंने आशा व्यक्त की कि यह रूस यूक्रेन युद्ध के समाधान खोजने के लिए आगे का रास्ता प्रशस्त करेगा। श्री गोयल ने कहा कि भारत में सरकार ने आम आदमी की आवश्यकताओं को पूरा करने, पर्याप्त खाद्य भंडार की उपलब्धता, ऊर्जा की आवश्यकता, पर्याप्त बीज, पर्याप्त उर्वरक सुनिश्चित करने पर ध्यान केंद्रित किया है।

श्री गोयल ने पिछले पांच वर्षों में मुक्त व्यापार समझौतों पर हस्ताक्षर करने में भारत के नए सिरे से ध्यान केंद्रित करने की चर्चा करते हुए इस बात पर बल दिया कि भारत आज अतीत की छाया से बाहर निकल आया है। भारत ने माना है कि बहुपक्षीय सहयोग अक्सर आर्थिक साझेदारी की ओर ले जाते हैं जो सभी हितधारकों के सर्वोत्तम हित में नहीं भी हो सकते हैं। उन्होंने भारत के क्षेत्रीय व्यापक आर्थिक भागीदारी (आरसीईपी) से बाहर निकलने का उदाहरण दिया क्योंकि यह एक बहुत ही अनुचित, असंतुलित समझौता था। उन्होंने कहा कि भारत की रूचि दोनों देशों के सर्वोत्तम हित में संतुलित द्विपक्षीय मुक्त व्यापार समझौते करने में है। हम समान विचारधारा वाले देशों, विशेष रूप से नियम आधारित आदेश, पारदर्शी आर्थिक प्रणाली वाले देशों के साथ जुड़ रहे हैं और ऐसे समझौते कर रहे हैं जो दोनों पक्षों के लिए लाभप्रद हैं।

कोविड महामारी से सीखे गए सबक का उल्लेख करते हुए हुए, श्री गोयल ने कहा कि स्वास्थ्य ढांचे का उन्नयन और विस्तार हमारी सर्वोच्च प्राथमिकता है। उन्होंने रेखांकित किया कि सरकार ने अस्पताल अवसंरचना की गुणवत्ता में सुधार किया है, आईसीयू बेड और ऑक्सीजन क्षमता को कई गुना बढ़ाया है, देश में चिकित्सा महाविद्यालयों की संख्या लगभग दोगुनी कर दी है। उन्होंने यह भी उल्लेख किया कि स्वास्थ्य कर्मियों के कौशल विकास प्रशिक्षण पर ध्यान केंद्रित किया जा रहा है। उन्होंने भारत के निशुल्क स्वास्थ्य देखभाल कार्यक्रम की भी चर्चा की, जो विश्व का सबसे बड़ा कार्यक्रम है, जिसमें 500 मिलियन लोग सरकार द्वारा प्रायोजित कार्यक्रम के माध्यम से भारत में निशुल्क स्वास्थ्य देखभाल के पात्र हैं।

उन्होंने कहा कि लचीली आपूर्ति श्रृंखलाओं के महत्व को स्वीकार करना एक और सबक है। उन्होंने बेहतरीन प्रयासों के बावजूद कोविड महामारी के दौरान पीपीई जैसे महत्वपूर्ण उपकरणों के लिए देश के संघर्ष का स्मरण किया। उन्होंने कहा कि सरकार अब इन सभी क्षेत्रों में भारत की क्षमताओं को मजबूत करने पर ध्यान दे रही है। उन्होंने रेखांकित किया कि इन चुनौतियों को भारत के भविष्य- भारत की विकास गाथा के अवसरों में बदल दिया गया। हमारा भारतीय उद्योग वास्तव में इस अवसर पर आगे बढ़ा और भारत अब व्यक्तिगत सुरक्षा उपकरणों का विनिर्माता है। उन्होंने कहा कि पिछले कुछ वर्षों में, भारत एक मजबूत, नियम आधारित प्रणाली में विश्वास करने वाले निवेशकों को आकर्षित करने के लिए सक्षम अवसंरचना, पर्यावरण के निर्माण पर ध्यान केंद्रित कर रहा है। उन्होंने कहा कि हमारा ध्यान संरचनात्मक सुधारों, व्यापक स्तर पर अवसंरचना के विकास, डिजिटलीकरण और विशाल प्रतिभा पर है, जो भारत विश्व को उपलब्ध करा रहा है और यह भारत के भविष्य को फिर से लिखने में सहायता कर रहा है।

अगले 25 वर्षों के लिए चुनौतियों और अवसरों की चर्चा करते हुए, श्री गोयल ने कहा कि सबसे बड़ी चुनौतियों में से एक- गुणवत्ता के महत्व को पहचानने और उसे महत्व देने के लिए राष्ट्र की मानसिकता को बदलना है। उन्होंने इसे भारत के भविष्य के लिए एक परिभाषित कारक करार दिया। उन्होंने कहा कि सरकार बड़ी संख्या में लोगों के लिए रोजगार सृजित करने, डिजिटलीकरण पर ध्यान केंद्रित करने, भारत को ज्ञान आधारित अर्थव्यवस्था बनाने के लिए विनिर्माण की सहायता करना जारी रखेगी। उन्होंने उल्लेख किया कि भारत ने डिजिटल रूप से 74 बिलियन से अधिक वित्तीय लेनदेन किए, जो संयुक्त रूप से यूरोप, अमेरिका और चीन से अधिक है। उन्होंने कहा कि हमारी चुनौती राष्ट्र की मानसिकता को उच्च गुणवत्ता, उच्च प्रौद्योगिकी, उच्च सेवा उन्मुख होने की दिशा में कार्य करने की है, जो शेष विश्व की आवश्यकताओं को पूरा कर सके।

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समाचार कानपुर से

कानपुर 5 जनवरी भारतीय स्वरूप संवाददाता

कानपुरनगर-पनकी इंडस्ट्रियल एरिया साइट 3 के G-60 फैक्ट्री में भीषण अग्निकांड लगभग 3.30 बजे आज प्रातः हुआ_

_इस भीषण अग्निकांड में विभिन्न फायर स्टेशनों की 10 फायर टेंडर्स को प्रयोग करते हुए आग पर पूर्ण रूप से काबू पाया गया_

_इस घटना को सुरक्षित तरीके से बुझाया गया इसमें कोई जनहानि नहीं हुई।।_

_जिस फैक्ट्री में भीषण अग्निकांड हुआ उसमें रबर के सोल बनाने का कार्य होता था, आग लगने के कारण प्रथम दृष्टया शॉर्ट सर्किट प्रतीत होता है।।_

_इस भीषण अग्निकांड को नियंत्रित करने हेतु अग्निशमन अधिकारी फजलगंज,अग्निशमन द्वितीय अधिकारी मीरपुर और फायर सर्विस स्टाफ उपस्थित रहा_
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: *कानपुर में अटैक से 10 और ने तोड़ा दम*

तापमान पहुंचा 2°C, 50 साल का टूटा रिकॉर्ड; कोल्ड वेव का अलर्ट

मंगलवार की रात यूपी में सबसे ज्यादा ठंडी कानपुर में रही।

LPS कार्डियोलॉजी इंस्टीट्यूट में 5 हार्ट पेशेंट्स ने दम तोड़ा। वहीं 5 पेशेंट्स ने कॉर्डियोलॉजी पहुंचने से पहले ही दम तोड़ दिया।

परिजन जब तक उन्हें इंस्टीट्यूट लेकर पहुंचे मौत हो गई थी।

मंगलवार को इमरजेंसी में 118 पेशेंट्स पहुंचे जबकि ओपीडी में 609 हार्ट पेशेंट्स पहुंचे।

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*ककवन थाना क्षेत्र में संदिग्ध परिस्थियों में युवक ग़ायब होने का मामला*
विषधन क्षेत्र में शादी के कार्ड बाटने गया था युवक।
वापस ना आने पर परिजनों ने की तलाश तो नहर के किनारे खून से सने ग्लब्ज आदि मिले।
नहर में तलाश करने पर मोटर साइकिल हुई बरामद।
पास ही काफी मात्रा में खून पड़ा मिला।
परिजनों ने गांव के ही एक परिवार पर हत्या का शक ज़ाहिर किया।
लड़की के विवाह को लेकर एक युवक लगातार दे रहा था धमकी।
परिजनों ने ककवन थाने में युवक के गायब होने की दी सूचना।
पुलिस की सुस्त चाल से परिजनों में अनहोनी होने का डर।
काफी दिनों से नौशाद नाम का युवक कर रहा था परेशान।
*परिजनों ने ककवन थाना क्षेत्र पुलिस पर कार्यवाही ना करने का लगाया आरोप*
*ककवन पुलिस गायब 32 वर्षीय पुष्पेंद्र को अभी तक नही कर सकी है तलाश*
परिजनों को एसीपी बिल्हौर से न्याय की उम्मीद।

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