उत्तर प्रदेश के मुख्य मंत्री योगी आदित्यनाथ और केंद्रीय नागरिक उड्डयन और इस्पात मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया मैनपुरी में स्वर्गीय माधवराव जीवाजीराव सिंधिया की प्रतिमा का अनावरण करने के बाद एक साथ नए टर्मिनल के उद्घाटन के लिए कानपुर हवाई अड्डे जाएंगे।
नई टर्मिनल बिल्डिंग की मुख्य विशेषताओं में शामिल हैं:
- नया टर्मिनल भवन 6243 वर्गमीटर के क्षेत्र में 150 करोड़ रुपये की परियोजना लागत पर बनाया गया है और ये मौजूदा टर्मिनल से 16 गुना बड़ा है।
- पहले के 50 यात्रियों की तुलना में पीक ऑवर्स के दौरान 400 यात्रियों को संभालने के लिए तैयार किया गया है।
- यात्रियों के लिए कुशल और त्वरित चेक-इन प्रक्रिया सुनिश्चित करने के लिए 08 चेक-इन काउंटर।
- सामान के आसान रखरखाव और संग्रह की सुविधा के लिए 3 कन्वेयर बेल्ट जिसमें से एक प्रस्थान हॉल में स्थित है और दो आगमन हॉल में स्थित है।
- 850 वर्ग मीटर में फैला एक विशाल कंसेशिनेयर एरिया, जो यात्रियों के लिए खरीदारी और भोजन की विविध रेंज पेश करता है।
- दृष्टिबाधित यात्रियों की सुविधा के लिए स्पर्श पथ प्रावधान किए गए हैं।
- टर्मिनल के शहर की ओर, 150 कार पार्किंग स्थान और 2 बस पार्किंग स्थान हैं, जो यात्रियों के लिए पर्याप्त पार्किंग सुविधाएं सुनिश्चित करते हैं।
- नव विकसित एप्रन 713मी X 23मी के एक नए लिंक टैक्सी ट्रैक के साथ-साथ तीन ए-321/बी-737 प्रकार के विमानों की पार्किंग के लिए उपयुक्त है।
केंद्रीय नागरिक उड्डयन और सड़क परिवहन और राजमार्ग राज्य मंत्री सेवानिवृत्त जनरल डॉ. वी. के. सिंह, उत्तर प्रदेश विधान सभा के अध्यक्ष सतीश महाना, उत्तर प्रदेश सरकार में औद्योगिक विकास, निर्यात प्रोत्साहन, एनआरआई और निवेश प्रोत्साहन मंत्री और सांसद नंद गोपाल गुप्ता ‘नंदी’, लोकसभा सांसद देवेंद्र सिंह, लोकसभा सांसद सत्यदेव पचौरी और कानपुर नगर निगम की मेयर श्रीमती प्रमिला पांडे तथा अन्य वरिष्ठ गणमान्य व्यक्ति भी इस कार्यक्रम में उपस्थित रहेंगे।
कानपुर चमड़ा, कपड़ा और रक्षा संबंधी उत्पादन उद्योगों का एक प्रमुख केंद्र है। यहां कई ऐतिहासिक और पवित्र स्थान हैं और आईआईटी कानपुर, नेशनल शूगर इंस्टीट्यूट, यूपी लैदर एंड टैक्सटाइल टैक्नोलॉजी इंस्टीट्यूट जैसे विभिन्न प्रमुख शैक्षणिक संस्थान हैं जो बड़ी संख्या में हवाई यात्रियों को आकर्षित करते हैं। वर्तमान में कानपुर मुंबई और बेंगलुरु एयरपोर्ट से सीधे जुड़ा हुआ है। कानपुर, जिसे अक्सर ‘उत्तर प्रदेश का मैनचेस्टर’ कहा जाता है, के उत्तर प्रदेश के अन्य शहरों और देश के दूसरे हिस्सों से जुड़ने की संभावना है।
कानपुर हवाईअड्डे पर नए सिविल एन्क्लेव का टर्मिनल भवन डबल इंसुलेटेड रूफिंग सिस्टम, ऊर्जा की बचत के लिए कैनोपी का प्रावधान, एलईडी लाइटिंग, लो हीट गेन डबल ग्लेज़िंग यूनिट, भूजल तालिका को रिचार्ज करने के लिए वर्षा जल संचयन, जल उपचार संयंत्र, सीवेज उपचार संयंत्र और भूनिर्माण के लिए पुनर्नवीनीकरण पानी का उपयोग, 100 केडब्लूपी की क्षमता वाला एक सौर ऊर्जा संयंत्र जैसी विभिन्न स्थिरता सुविधाओं से सुसज्जित है। इसे जीआरआईएच-IV रेटिंग प्रदान की गई है, जो देश में सतत विकास और जिम्मेदार संसाधन प्रबंधन को दर्शाने वाली एक राष्ट्रीय ग्रीन बिल्डिंग रेटिंग प्रणाली है।
टर्मिनल बिल्डिंग का अग्रभाग शहर और वायुमार्ग दोनों से कानपुर के प्रसिद्ध जेके मंदिर की मंदिर वास्तुकला को दर्शाता है। टर्मिनल बिल्डिंग के अंदरूनी हिस्सा विभिन्न स्थानीय विषयों जैसे कपड़ा, चमड़ा उद्योग और शहर की प्रसिद्ध हस्तियों जैसे कवि श्यामलाल गुप्ता और ऋषि महर्षि वाल्मीकि पर आधारित हैं। टर्मिनल को कानपुर और उत्तर प्रदेश राज्य की संस्कृति और विरासत को एक करने के लिए डिज़ाइन किया गया है, जिससे आगंतुकों के लिए क्षेत्र की संस्कृति और इतिहास के प्रति भावना जागृत हो सके।