कानपुर 31मार्च, भारतीय स्वरूप संवाददाता, एस एन सेन बी वी पी जी कॉलेज की कादोम्बिनी देवी एन. एस. एस. यूनिट द्वारा काकोरी ग्राम में आयोजित सात दिवसीय विशेष शिविर का समापन समारोह महाविद्यालय सभागार में मां सरस्वती की प्रतिमा के सम्मुख दीप प्रज्वलन, पुष्प अर्पण, सरस्वती वंदना से आरंभ किया गया। शिविर में अथिति के रूप में एस एच ओ छावनी अर्चना सिंह, संस्थापक अध्यक्ष महिला जागृति संस्थान कानपुर विजयेता श्रीवास्तव, आरोग्य भारती संस्थान कानपुर के जिलाध्यक्ष डॉ. बी. एन. आचार्य, अधिवक्ता कानपुर कोर्ट श्री मुकेश श्रीवास्तव एवम् विशाल श्रीवास्तव, काकोरी ग्राम से अनिता देवी, पुष्पा देवी, बेबी देवी, सुरेखा देवी, दीपाली, रूपाली, मिताली, अंकिता तथा शिवानी कार्यक्रम में उपस्थित रहें। सभी अतिथियों का महाविद्यालय की ओर से स्मृतिचिह्न देकर स्वागत एवम् सम्मान किया गया।निश्चित रूप से महाविद्यालय प्रबंधन तंत्र के अध्यक्ष, सचिव एवम् संयुक्त सचिव, प्राचार्या महोदया, एन. एस. एस. प्रभारी तथा उनकी पूरी टीम, तथा समस्त शिक्षिकाओं की सभागार में गरिमामय उपस्थिति ने कार्यक्रम को सफल बनाने में महती भूमिका निभाई।प्राचार्या डॉ. निशा अग्रवाल जी ने अपने स्वागत वक्तव्य में हमेशा की तरह अपने आशीर्वचनों से सभी को उत्साहित, प्रफ्फुलित, एवम् प्रेरित किया। डॉ. बी. एन. आचार्य जी ने स्वस्थ रहने के चार सूत्र – नियम, संयम, प्राणायाम एवम् संतुलित आहार पर बल दिया। एस एच ओ अर्चना सिंह ने बालिकाओं व महिलाओं को अपनी सुरक्षा के प्रति सर्वप्रथम स्वयं तत्पर रहने और सुरक्षित कदम उठाने की महत्त्वपूर्ण सलाह दी गई। श्रीमती विजेयता श्रीवास्तव ने महिला उत्थान में निरंतर योगदान देने की अपनी प्रतिज्ञा को दोहराया। अधिवक्ता मुकेश श्रीवास्तव ने असहाय लोगों की निस्वार्थ सेवा करने का संकल्प लिया। अधिवक्ता विशाल श्रीवास्तव ने सभी ग्रामीण महिलाओं की सहायता करने का वादा किया। ग्राम काकोरी से रूपाली ने महाविद्यालय परिवार को धन्यवाद देते हुए भविष्य में भी इसी प्रकार के कैंप गांव में लगते रहें, ऐसी इच्छा व्यक्त की।कार्यक्रम को समापन की ओर सफलतापूर्वक ले जाने का कार्य एन एस प्रोग्राम ऑफिसर डॉ. चित्रा सिंह तोमर ने अपने चिरपरिचित अंदाज में दमदार धन्यवाद ज्ञापन के साथ बखूबी किया। उन्होंने प्रत्येक कड़ी को उचित स्थान देकर धन्यवाद ज्ञापन दिया।
मंच संचालन डॉ. प्रीति सिंह के द्वारा क्रमबद्ध रूप से किया गया। शिविर की आख्या डॉ. अनामिका राजपूत ने सारगर्भित रूप में प्रस्तुत की। डॉ. मोनिका शुक्ला, डॉ. अंजना गुप्ता ने अतिथि परिचय पढ़ने की परंपरा का निर्वहन किया। श्रीमती चेतना त्रिपाठी ने स्वयं सेविकाओं के साथ कार्यक्रम की आवश्यक व्यवस्था करने में अपना महत्त्वपूर्ण योगदान दिया। स्वयं सेविकाओं की सांस्कृतिक प्रस्तुति, श्री गुलशन मोगा ने अपनी संगीत विभाग की छात्राओं के साथ कार्यक्रम में समां बांध दिया। सभी स्वयं सेविकाओं को प्रमाणपत्र एवम् मेडल का वितरण भी समापन समारोह में किया गया। अंत में राष्ट्रगान के साथ सात दिवसीय विशेष शिविर का समापन किया गया।
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