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ग्रामीण क्षेत्र के चिन्हित हाई रिस्क एरिया में वेक्टर घनत्व का आंकलन करने हेतु कार्यवाही कराई गयी

कानपुर दिनांक 21 अप्रैल (सू0वि0) प्रदेश सरकार के निर्देशों के क्रम में विशेष संचारी रोग नियंत्रण अभियान के अंतर्गत मुख्य चिकित्साधिकारी डा0 नेपाल सिंह ने बताया है कि आज जनपद के ग्रामीण क्षेत्र के चिन्हित हाई रिस्क एरिया में वेक्टर घनत्व का आंकलन करने हेतु कार्यवाही कराई गयी, जिसके अंर्तगत ग्रामीण क्षेत्र के हाई रिस्क एरिया के ब्लाक चौबेपुर के ग्राम भवानीपुर में स्वास्थ्य विभाग की 05 टीमों द्वारा सघन भ्रमण किया गया। जिसमें गाँव के 90 घरों में भ्रमण के दौरान 02 घरों में मच्छर का लार्वा पाया गया तथा नगरीय क्षेत्र के चिन्हित हाई रिस्क एरिया में वेक्टर घनत्व का आंकलन करने हेतु कार्यवाही कराई गयी, जिसमें 20 हाई रिस्क मोहल्लों (चटाई मोहाल, सूटरगंज, नवाबगंज, कलेक्टर गंज, जेके कॉलोनी, अंबेडकरनगर काकादेव, चीना पार्क, दलेल पुरवा, सी0 ब्लाक गोविन्द नगर, एनएलसी बाबू पुरवा, गडियाना, चाणक्यपुरी, बेकनगंज, गडियाना, पुरानी बस्ती काकादेव, सुंदर नगर पनकी, डिकल कॉलेज डॉक्टर आवास, कच्ची मडैया हर्षनगर, पीडब्ल्यूडी कॉलोनी शास्त्री नगर, बर्रा विश्व बैंक बी ब्लॉक, मनोहर विहार, योगेन्द्र विहार) के 2006 घरों में भ्रमण कर मच्छरों के प्रजनन वाले स्थान देखे गए जिसमें 03 घरों में मच्छरों के लार्वा पाए गए जिसको खाली कराकर नष्ट कराया गया।
उन्होंने बताया कि अब तक जनपद के कुल 29963 घरों का भ्रमण एंटोमोलॉजीकल सर्वे किया गया जिसमें 92 घरों में मच्छरों के लार्वा पाया गया जिनको खाली कराकर नष्ट भी कराया गया।
उन्होंने बताया कि आज आजादी के अमृत महोत्सव के अंतर्गत ब्लाक बिल्हौर एवं ककवन में स्वास्थ्य मेले का आयोजन किया गया, जिसमें संचारी रोग/वेक्टर जनित रोग नियंत्रण कार्यक्रम से संबंधित स्टाल लगा कर जनमानस को जागरूक किया गया।
सहयोगी विभाग ग्राम विकास/ग्राम पंचायत, नगर निगम व नगर पालिकाओं द्वारा नालियों की साफ सफाई तथा फागिंग करायी जा रही है। पशुपालन विभाग द्वारा सूकर पलकों का संवेदीकरण कराया जा रहा है। कृषि रक्षा विभाग द्वारा चूहा,छडूंदर से बचाव हेतु किसानों का संवेदीकरण कराया जा रहा है।

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एसोसियेशन ऑफ स्मॉल एण्ड मीडियम न्यूज पेपर्स ऑफ इण्डिया के तत्वावधान में राष्ट्रीय सम्मेलन आयोजित

जयपोर, उड़ीसा। एसोसियेशन ऑफ स्मॉल एण्ड मीडियम न्यूज पेपर्स ऑफ इण्डिया के तत्वावधान में राष्ट्रीय सम्मेलन आयोजित किया गया। इस अवसर पर देश के लघु और मध्यम समाचार पत्रों के अनेक प्रकाशक/स्वामी सम्मिलित हुए और अपने अपने विचार व्यक्त किये। सम्मेलन को राष्ट्रीय अध्यक्ष केशव दत्त चन्दोला ने वर्चुअल माध्यम से सम्बोधित किया और समाचार पत्रों की समस्याओं का निस्तारण कराने बल बल दिया। राष्ट्रीय सम्मेलन में अपने विचार व्यक्त करते हुए डॉ0 अनन्त शर्मा ने प्रिंट मीडिया के सामने उपस्थित चुनौतियों पर विस्तार से प्रकाश डाला। इतना ही नहीं उन्होंने सोशल मीडिया व नई टेक्नोलॉजी के जरिए कैसे इस से मुकाबला किया जा सकता है इस पर अपने विचार प्रकट किए। साथ ही उपभोक्ता जागरूकता में मीडिया की भूमिका पर भी प्रकाश डाला। एसोसियेशन ऑफ स्मॉल एण्ड मीडियम न्यूज पेपर्स ऑफ इण्डिया के इस राष्ट्रीय सम्मेलन में स्थानीय सांसद, उपकुलपति उपकुलपति, एसोसिएशन के महासचिव शंकर कतीरा, उड़ीसा राज्य इकाई के अध्यक्ष रबीरथ, विनोद महापात्रा, कोण्डलराव सेंडीरेड्डी, अरविन्द्र सिंह जादौन सहित, उत्तर प्रदेश से प्रदेश इकाई के अध्यक्ष श्याम सिंह पंवार, धीरेंद्र मैथानी, और अतुल दीक्षित ने जूम के माध्यम से भाग लिया।

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दीपक जलाने से घर में सकारात्मक ऊर्जा का वास होने के साथ साथ घर का वातावरण भी संतुलित रहता है

हमारे घरों मे प्राचीन काल से ही सुबह और शाम को दीपक जलाने का रिवाज रीत या चलन रहा है।आदमी या औरतें घर के काम के साथ ये काम भी बहुत शौक़ और श्रद्धा से करते थे। दीपक जलाने से घर में सकारात्मक ऊर्जा का वास होने के साथ साथ घर का वातावरण भी संतुलित रहता है।शाम को दीपक जलाने से लक्ष्मी माता प्रसन्न होती है, दीपक अंधकार को मिटाकर घर में रोशनी देता है, जिससे घर परिवार का माहौल खुशनुमा बना रहता है।इसीलिए सब को दीपक लगाना भी चाहिए। मगर भगवान तो सारे संसार को रोशनी देते है ,उन्हें क्या ज़रूरत है हमारे दीपक की।वो रोशनी हम अपने लिये जलाते है ताकि हमारे मन मे प्रकाश हो। लेकिन अब दौर नया है नई पीढ़ी ये नही कर पाती न ही समझती है।बहुत ख़ुशक़िस्मत वाले लोग है जो ये पूजा पाठ कर पाते है। दोस्तों! अगर आज के वक़्त मे हम हर रोज सुबह शाम गैस का चूल्हा भी अपने हाथ से जला ले,और अग्नि उत्पन्न कर ले,और उस अग्नि पर अपने हाथ से खाना बना कर सारे परिवार को खिला पा रहे है।उस वक़्त आप इक ऐसा दीपक जला रहे होते है जो किसी के काम भी आ रहा है।अपने हाथो से किसी का पेट भी भर रहे होते है।  भगवान तो उसी गैस के चूल्हे से उत्पन्न हुई अग्नि को भी दीपक मान लेते है और ख़ुश हो जाते है। मगर आज दीपक तो दूर की बात है घर का खाना बनाने के लिये घर मे काम करने वाले लोग ही गैस को जलाते है। यानि घर मे सुबह शाम अग्नि भी कोई और ही जलाता है और सारे परिवार का पेट भी कोई और ही भरता है। सुबह शाम मंदिर मे घंटी बजाने का भी चलन है। वो भी शुभता का सूचक है और असीम शांति भी प्रदान करता है । अगर बजा सको तो बहुत शुभ है । नही तो जब हम अपने हाथ से चूल्हा जला कर परिवार को खाना खिला देते है ,तो बाद मे क्या करते है ,पानी से बर्तनों को धोते है।जो बर्तन धोते वक़्त जो बर्तनों के टकराव से ध्वनि प्रकट होती है भगवान तो इतने दयालु और सरल है वो तो उसी ध्वनि को घंटी के रूप मे स्वीकार कर लेते है । अफ़सोस ये है आज हमारे परिवार को खाना भी कोई और खिलाता है और बर्तन भी कोई और धोता है। सो इस हिसाब से अग्नि भी सुबह शाम कोई और प्रकट कर रहा है और हमारे परिवार की भूख अग्नि को बुझाने के बाद घंटी भी कोई और बजा देता है । हम वो सौभाग्य भी अपने हाथो से खो देते है अगर मन्दिर की सफ़ाई न भी कर पाये तो घर की ही अपने हाथो से कर लेनी चाहिए,क्योंकि घर मे साक्षात्कार रूप मे भगवान रहते है।सास ससुर की सेवा जिसने कर ली ।भगवान शिव पार्वती माता अपने आप ख़ुश ही रहेंगे।पति की सेवा कर ली तो भगवान विष्णु की पूजा हो गई समझो।पत्नी को ख़ुश किया तो माँ लक्ष्मी वैसे ही प्रसन्न रहेंगी।और अगर अपने पुत्रों और पुत्रियों या आसपास के छोटे बच्चों को प्यार किया उनकी देखभाल की तो भगवान गणपति की ख़ुशी प्राप्त की जा सकती है ,और कही जीवन भर किसी को दुख न दिया।न ही किसी की आह ली ,और न ही किसी के साथ ठगी की ,तो समझो नवग्रह अपने आप ही प्रसन्न रहेंगे।भगवान ने हमे सीधा सा जीवन दिया है ।जिसे हम सादगी से जी भी सकते है मगर हम वो भी नही कर पाते।

चिराग़े रोशन कर तो सही ,कभी खुद से ,कभी नज़रों से और कभी अपने करमो से ,चिराग़ जला तो सही।
हवा के ख़िलाफ़ जो चिराग़ जलाया मैंने,मासूमियत देख मेरी,हवा का रूख अपने आप ही मेरी ओर मुड़ गया 🙏 स्मिता

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सरकार ने लेफ्टिनेंट जनरल मनोज सी पांडे को अगला थल सेनाध्यक्ष नियुक्त किया

वर्तमान में सेना के उप प्रमुख लेफ्टिनेंट जनरल मनोज सी पांडे को सरकार ने अगला सेनाध्यक्ष नियुक्त किया है। इस पद पर उनकी नियुक्ति 30 अप्रैल, 2022 की दोपहर से प्रभावी होगी। 06 मई, 1962 को जन्मे लेफ्टिनेंट जनरल मनोज सी पांडे को 24 दिसंबर, 1982 को भारतीय सेना की कोर ऑफ इंजीनियर्स (द बॉम्बे सैपर्स) में कमीशन दिया गया था। 39 वर्षों से अधिक समय की अपनी लंबी और विशिष्ट सेवा अवधि के दौरान श्री मनोज सी पांडे ने विभिन्न कमानों, अधिकारी पदों और प्रशिक्षण सम्बन्धी नियुक्तियों पर काम किया है। लेफ्टिनेंट जनरल मनोज सी पांडे ने अपनी कमान की नियुक्तियों के दौरान पश्चिमी युद्ध क्षेत्र में एक इंजीनियर ब्रिगेड की कमान संभाली है, उन्होंने हमलावार फौजी दस्ते के साथ काम किया है और इसके अलावा जम्मू-कश्मीर में नियंत्रण रेखा पर एक पैदल ब्रिगेड के साथ उनकी सेवाएं भी शामिल हैं। श्री मनोज सी पांडे की अन्य महत्वपूर्ण कमांड नियुक्तियों में पश्चिमी लद्दाख के ऊंचाई वाले क्षेत्र में एक माउंटेन डिवीजन तथा एलएसी के साथ और पूर्वी कमान के काउंटर इंसर्जेंसी ऑपरेशन क्षेत्र में एक कोर की कमान संभाली।

लेफ्टिनेंट जनरल के रैंक पर मनोज सी पांडे अंडमान और निकोबार कमान के कमांडर-इन-चीफ और कोलकाता में पूर्वी कमान के जीओसी-इन-सी के पद पर सेवारत रहे हैं और ये उनकी सेना के उप प्रमुख के रूप में कार्यरत होने से पहले की महत्वपूर्ण नियुक्तियां हैं।

लेफ्टिनेंट जनरल मनोज सी पांडे राष्ट्रीय रक्षा अकादमी के पूर्व छात्र हैं और उन्होंने केम्बरली (यूके) के स्टाफ कॉलेज, महू के आर्मी वार कॉलेज और नई दिल्ली में राष्ट्रीय रक्षा कॉलेज से अपनी पढ़ाई पूरी की है।

लेफ्टिनेंट जनरल मनोज सी पांडे को उनकी उत्कृष्ट सेवा के लिए परम विशिष्ट सेवा मेडल, अति विशिष्ट सेवा मेडल और विशिष्ट सेवा मेडल से सम्मानित किया गया है।

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भारत की चीनी, घोल रही है विश्व में मिठास!

भारत के चीनी निर्यात में वित्त वर्ष 2013-14 के 1,177 मिलियन डॉलर की तुलना में 291 प्रतिशत की आश्चर्यजनक वृद्धि दर्ज की गई है जो वित्त वर्ष 2021-22 के दौरान 4600 मिलियन डॉलर तक पहुंच गई है। डीजीसीआईएंडएस के डाटा के अनुसार, भारत ने विश्व भर के 121 देशों को चीनी का निर्यात किया। पिछले वित्त वर्ष की तुलना में चीनी के निर्यात में 65 प्रतिशत की उछाल दर्ज की गई। यह वृद्धि उच्च माल भाड़ा बढोतरी, कंटेनरों की कमी आदि के रूप में कोविड-19 महामारी द्वारा उत्पन्न लॉजिस्ट्क्सि संबंधी चुनौतियों के बावजूद अर्जित की गई। एक ट्वीट में इस ऐतिहासिक उपलब्धि को रेखांकित करते हुए, केंद्रीय वाणिज्य एवं उद्योग, उपभोक्ता मामले, खाद्य एवं सार्वजनिक वितरण तथा कपड़ा मंत्री श्री पीयूष गोयल ने कहा कि मोदी सरकार की नीतियां किसानों को वैश्विक बाजारों का दोहन करने के माध्यम से उनकी आय बढ़ाने में सहायता कर रही हैं। डीजीसीआईएंडएस के डाटा के अनुसार, भारत ने वित्त वर्ष 2019-20 के दौरान 1965 मिलियन डॉलर के बराबर का चीनी निर्यात किया था जो वित्त वर्ष 2020-21 में 2790 मिलियन डॉलर तथा वित्त वर्ष 2021-22 के दौरान 4600 मिलियन डॉलर तक पहुंच गया। वित्त वर्ष 2021-22 (अप्रैल-फरवरी) में, भारत ने इंडोनेशिया को 769 मिलियन डॉलर के बराबर का चीनी निर्यात किया था जिसके बाद बांग्लादेश (561 मिलियन डॉलर), सूडान (530 मिलियन डॉलर) तथा संयुक्त अरब अमीरात (270 मिलियन डॉलर) का स्थान रहा। भारत ने सोमालिया, सऊदी अरब, मलेशिया, श्रीलंका, अफगानिस्तान, इराक, पाकिस्तान, नेपाल, चीन आदि देशों में भी चीनी का निर्यात किया। भारतीय चीनी का आयात अमेरिका, सिंगापुर, ओमान, कतर, टर्की, ईरान, सीरिया, कनाडा, ऑस्ट्रेलिया, दक्षिण अफ्रीका, जर्मनी, फ्रांस, न्यूजीलैंड, डेनमार्क, इजरायल, रूस, मिस्र आदि देशों में किया गया है। उत्तर प्रदेश, महाराष्ट्र तथा कर्नाटक की देश में कुल चीनी उत्पादन में लगभग 80 प्रतिशत की हिस्सेदारी है। देश के अन्य प्रमुख गन्ना उत्पादक राज्यों में आंध्र प्रदेश, गुजरात, मध्य प्रदेश, ओडिशा, तमिलनाडु, बिहार, हरियाणा तथा पंजाब शामिल हैं। उल्लेखनीय है कि भारत ब्राजील के बाद विश्व का दूसरा सबसे बड़ा चीनी उत्पादक देश है। वित्त वर्ष 2010-11 के बाद से, भारत निरंतर चीनी का अधिशेष उत्पादन करता रहा है और आराम से घरेलू आवश्यकताओं से अधिक उत्पादन करता रहा है। रिकॉर्ड निर्यात चीनी उत्पादकों को उनके भंडार में कमी लाने में सक्षम बनाएगा तथा गन्ना किसानों को भी लाभान्वित करेगा क्योंकि भारतीय चीनी की बढ़ी हुई मांग से उनकी प्राप्ति में सुधार आने की उम्मीद है। कृषि निर्यातों में उल्लेखनीय वृद्धि को देश के कृषि एवं प्रसंस्कृत खाद्य उत्पादों के निर्यात को बढ़ावा देने के माध्यम से किसानों की आय बढ़ाने की सरकार की प्रतिबद्धता के प्रमाण के रूप् में भी देखा जा रहा है। निर्यात किए जाने वाले उत्पादों का निर्बाधित गुणवत्तापूर्ण प्रमाणन सुनिश्चत करने के लिए, कृषि एवं प्रसंस्कृत खाद्य उत्पाद निर्यात विकास प्राधिकरण (एपीडा) ने उत्पादों तथा निर्यातकों की एक व्यापक श्रृंखला को जांच की सुविधाएं प्रदान करने के लिए भारत भर में 220 प्रयोगशालाओं को मान्यता प्रदान की है। एपीडा अंतरराष्ट्रीय व्यापार मेलों में निर्यातकों की भागीदारी का आयोजन करतता है जो निर्यातकों को वैश्विक बाजारों में उनके खाद्य उत्पादों के विपणन के लिए एक मंच उपलब्ध करता है। एपीडा कृषि उत्पादों को बढ़ावा देने के लिए आहार, जैविक विश्व कांग्रेस, बायोफैच इंडिया आदि जैसे राष्ट्रीय कार्यक्रमों का भी आयोजन करता है। वर्ष 2019 में, एपीडा ने रोड शो का आयोजन करने के लिए इंडोनेशिया में निर्यातकों का एक प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व किया और संबंधित प्राधिकारियों के साथ बैठकें आयोजित कीं। इसके बाद इंडोनेशिया को होने वाले निर्यात में तेजी आई तथा आज वे भारत से चीनी के सबसे बड़े आयतक हैं।

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कलेक्ट्रेट सभागार में बाढ़ से पूर्व तैयारियों की बैठक की गयी

कानपुर 18 अप्रैल (सू0वि0) जिलाधिकारी के निर्देश पर अपर जिलाधिकारी (वि0/रा0) श्री दयानन्द प्रसाद ने कलेक्ट्रेट सभागार में बाढ से पूर्व तैयारियों की बैठक की गयी। बैठक में उन्होंने सभी संबंधित विभागों के अधिकारियों को निर्देश दिये कि आगामी बरसात के मौसम में सम्भावित बाढ की स्थिति से निपटने हेतु अपने-अपने विभागों की कार्य योजना बनाकर तत्काल प्रस्तुत करे। उन्होंने सभी तहसीलों में बाढ प्रबन्धन के संबंध में आवश्यक व्यवस्थायें व कार्य योजना बनाये जाने के निर्देश दिये।
उन्होंने मुख्य चिकित्साधिकारी को सम्भावित बाढ की स्थिति में कंट्रोल रूम बनाये जाने तथा चिकित्सकों की टीमें गठित किये जाने एवं संक्रामक रोगों से निपटने हेतु आवश्यक व्यवस्थायें किये जाने की कार्य योजना प्रस्तुत करने के निर्देश दिये। उन्होंने जिला पूर्ति अधिकारी को खादय पदार्थो के समुचित व्यवस्था तथा पेट्रोल, डीजल व गैस सैलेण्डरों की रिजर्व व्यवस्था रखने व खादय राहत सामग्री वितरण हेतु व्यवस्था की कार्य योजना प्रस्तुत करने के निर्देश दिये। उन्होंने नगर निगम व जल संस्थान द्वारा कंट्रोल रूम, जल निकासी की व्यवस्था व अन्य उपकरणों की व्यवस्था करने के निर्देश दिये। सिचाईं विभाग द्वारा बाढ चौकियों की स्थापना, तटबन्धों को सुरक्षित रखने व नदियों के जल स्तर पर नजर रखने के निर्देश दिये। कृषि विभाग द्वारा सम्भावित बाढ की स्थिति में किसानों को बीज की उपलब्धता सुनिश्चित कराये जाने तथा किसानों के खेतों से जल भराव की स्थिति उत्पन्न होने पर जल निकासी की व्यवस्था कराये जाने के निर्देश दिये। जिला पंचायत राज विभाग द्वारा बाढ चौकियों में निगरानी रखने हेतु कर्मियों की व्यवस्था व ग्राम प्रधानों के सहयोग से बाढ राहत में सहयोग कराये जाने के निर्देश दिये गये।
बैठक में अधिशाषी अभियन्ता सिंचाई श्री यासीन खान सहित समस्त उप जिलाधिकारी एवं संबंधित विभागों अधिकारीगण उपस्थित रहे।

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एस .एन. सेन बालिका महाविद्यालय पी.जी. कॉलेज में ” यूपी फ्री टेबलेट योजना 2022″ के तहत छात्राओं को टेबलेट वितरित किया गया

कानपुर 18 अप्रैल एस .एन. सेन बालिका महाविद्यालय पी.जी. कॉलेज में ” यूपी फ्री टेबलेट योजना 2022″ के तहत छात्राओं को टेबलेट ,   

वितरित किया गया कार्यक्रम का शुभारंभ मुख्य अतिथि, श्री अखिलेश कुमार तिवारी, अध्यक्ष स्थाई लोक अदालत कानपुर, प्रबंध समिति के सचिव ,श्री पी के सेन, संयुक्त सचिव श्री शुभरो सेन तथा प्राचार्या डॉ निशा अग्रवाल कार्यक्रम प्रभारी एवं मुख्य अनुशासक के डॉ निशी प्रकाश द्वारा मां सरस्वती के समक्ष दीप प्रज्वलित कर हुआ l मुख्य अतिथि श्री अखिलेश तिवारी जी के कर कमलों द्वारा छात्राओं को टेबलेट वितरित किया गया उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा इस योजना से छात्राओं का तकनीकी सशक्तिकरण होगा प्राचार्या ने बताया कि इस योजना के तहत प्रथम चरण में, 114 एम.ए. की छात्राओं को लाभ मिला हैl टेबलेट प्राप्त कर सभी छात्राएं अत्यंत आनंदित हुई और वे सरकार एवं कॉलेज को धन्यवाद ज्ञापित कर रहीं थीं कार्यक्रम का संचालन रसायन विभाग की विभागाध्यक्ष डॉ गार्गी यादव ने किया तथा धन्यवाद ज्ञापन कार्यक्रम प्रभारी डॉ निशी प्रकाश के द्वारा किया गया, कार्यक्रम में एम. ए. से संबंधित सभी विभागाध्यक्षाएं डॉक्टर निशी प्रकाश डॉक्टर निशा वर्मा ,डॉ मोनिका सहाय ,डॉ रचना निगम एवं अन्य संबंधित शिक्षिकाएं डॉ प्रीति सिंह आदि उपस्थित रहे, कार्यक्रम का समापन राष्ट्रगान के साथ हुआ।

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केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल ने निफ्ट के युवा स्नातकों से भारत को वैश्विक फैशन राजधानी बनाने की दिशा में काम करने का अनुरोध किया

केंद्रीय वाणिज्य और उद्योग व वस्त्र मंत्री श्री पीयूष गोयल ने आज राष्ट्रीय फैशन प्रौद्योगिकी संस्थान (निफ्ट) के युवा स्नातकों से भारत को विश्व की फैशन राजधानी बनाने की दिशा में काम करने का अनुरोध किया। उन्होंने मुंबई स्थित निफ्ट के दीक्षांत समारोह को संबोधित किया। अपने संबोधन में श्री गोयल ने कहा कि भारतीय डिजाइनर और कलाकारों के पास कौशल व अभिनव विचार हैं। उन्होंने कहा कि निफ्ट के स्नातकों सहित भारतीय डिजाइनर वैश्विक स्तर पर अभूतपूर्व काम कर रहे हैं। केंद्रीय मंत्री श्री गोयल ने स्नातक करने वाले छात्रों को प्रोत्साहित करते हुए कहा, “आप में से सभी सपने देखने वाले हैं, आप नए विचारों, नए डिजाइनों और नई अवधारणाओं के साथ आते हैं।” उन्होंने स्थानीय कोल्हापुरी चप्पल और पैठानी साड़ियों का उदाहरण दिया। केंद्रीय मंत्री ने कहा, “पारंपरिक भारतीय कला और हस्तशिल्प में वैश्विक फैशन ट्रेंड्स बनने की क्षमता है।”

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श्री गोयल ने कहा, “डिजाइन के छात्र के रूप में आप में से हर कोई एक गहरी संवेदनशीलता का प्रतिनिधित्व करता है। ये आपके काम की गुणवत्ता और आप अपने कामगारों, बुनकरों के साथ कैसा व्यवहार करते हैं और यह सुनिश्चित करते हैं कि उन्हें उनके काम का उचित मूल्य मिले, में दिखेगा।” श्री गोयल ने कहा कि निफ्ट स्नातकों से उच्च मानकों और नैतिकता को बनाए रखने की अपेक्षा है। उन्होंने निफ्ट के छात्रों की प्रतिभा की सराहना की। कपड़ा मंत्री ने कहा कि निफ्ट के कई स्नातक जल्द ही बॉलीवुड के लिए डिजाइनिंग शुरू करेंगे। केंद्रीय मंत्री ने बताया कि यूजीसी ने फैशन प्रौद्योगिकी में स्नातक, फैशन प्रौद्योगिकी में परास्नातक (मास्टर) और फैशन प्रबंधन में परास्नातक (मास्टर) पाठ्यक्रम को मान्यता दी है। उन्होंने कहा, “यूजीसी से मान्यता प्राप्त तकनीकी डिग्री आपको पूरे विश्व में उच्च अध्ययन के बेहतर अवसर प्राप्त करने में सहायता करेगी।” उन्होंने कहा कि सभी पाठ्यक्रमों के एक समान मानकीकरण से छात्रों के लिए शैक्षणिक मूल्य को बढ़ाने में सहायता मिलेगी।

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श्री गोयल ने छात्रों से अपने संस्थान और राष्ट्र को कुछ वापस देने का अनुरोध किया। उन्होंने बताया कि निफ्ट हथकरघा बुनकरों, हस्तशिल्प कारीगरों और अन्य लोगों के लिए सर्टिफिकेट पाठ्यक्रम शुरू करने जा रहा है। उन्होंने छात्रों से संस्थान को पाठ्यक्रम तैयार करने और कलाकारों को सलाह देने में सहायता करने का अनुरोध किया। श्री गोयल ने कहा, “उन लोगों को यह वापस देने पर विचार करें, जिन्हें उच्च गुणवत्ता वाली शिक्षा का अवसर प्राप्त नहीं होता है।” उन्होंने कहा, “बुनकरों के एक समूह को अपना सकते हैं, अपने कामगारों को कुशल बनाने पर विचार करें, उन्हें बेहतर काम करने के लिए शिक्षित करें, बेहतर डिजाइन, पैकेजिंग, मार्केटिंग व ब्रांडिंग के माध्यम से उनकी आय में सुधार करने में उनकी सहायता करें।” 2020 और 2021 में पाठ्यक्रम पूरा करने वाले 627 छात्रों को डिग्री प्रदान की गई। विभिन्न पाठ्यक्रमों में उत्कृष्ट प्रदर्शन करने वाले छात्रों को पदक, प्रमाणपत्र और पुरस्कार देकर सम्मानित किया गया।

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सेना कमांडरों का सम्मेलन 18 से 22 अप्रैल 2022 तक नई दिल्ली में निर्धारित

सेना कमांडरों का सम्मेलन 18-22 अप्रैल 2022 तक नई दिल्ली में निर्धारित है। सेना कमांडरों का सम्मेलन एक शीर्ष स्तरीय द्विवार्षिक कार्यक्रम है जो प्रत्येक वर्ष अप्रैल और अक्टूबर में आयोजित किया जाता है। सम्मेलन वैचारिक स्तर पर विचार-विमर्श के लिए एक संस्थागत मंच है, जहां भारतीय सेना के लिए महत्वपूर्ण नीतिगत निर्णय लिए जाते हैं।

सम्मेलन के दौरान, भारतीय सेना का वरिष्ठ नेतृत्व सक्रिय सीमाओं के साथ परिचालन स्थिति की समीक्षा करेगा, संघर्ष वाले पूरे क्षेत्र में खतरों का आकलन करेगा और क्षमता विकास और परिचालन तैयारी योजनाओं पर ध्यान केंद्रित करने के लिए क्षमता की कमी का विश्लेषण करेगा। सीमावर्ती क्षेत्रों में अवसंरचना के विकास, स्वदेशीकरण के माध्यम से आधुनिकीकरण, उत्कृष्ट तकनीक को शामिल करने और रूस-यूक्रेन युद्ध के किसी भी प्रभाव पर मूल्यांकन से संबंधित पहलुओं पर चर्चा भी निर्धारित है।

भारतीय सेना में कार्यों में सुधार, वित्तीय प्रबंधन, ई-वाहनों को शुरू करने और डिजिटलीकरण से संबंधित प्रस्तावों के अतिरिक्त क्षेत्रीय कमांडों द्वारा प्रायोजित विभिन्न एजेंडा बिंदुओं पर वरिष्ठ कमांडरों द्वारा विचार-विमर्श किया जाएगा। सम्मेलन के हिस्से के रूप में, आर्मी वेलफेयर एजुकेशन सोसाइटी (एडब्ल्यूईएस) और आर्मी ग्रुप इंश्योरेंस फंड (एजीआईएफ) के बोर्ड ऑफ गवर्नर्स की बैठकें आयोजित की जाएंगी।

रक्षा मंत्री श्री राजनाथ सिंह द्वारा 21 अप्रैल 2022 को वरिष्ठ कमांडरों के साथ बातचीत करने और सम्मेलन को संबोधित करने की उम्मीद है। यह सम्मेलन भारतीय सेना के वरिष्ठ नेतृत्व के लिए रक्षा मंत्रालय के संवाद सत्र के दौरान और रक्षा विभाग सैन्य विभाग के वरिष्ठ अधिकारियों के साथ परस्पर बातचीत करने का एक औपचारिक मंच भी है।

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कानपुर के समग्र विकास कार्यो की समीक्षा बैठक आयोजित

कानपुर 16 अप्रैल अध्यक्ष, उ0प्र0 विधान सभा सतीश महाना की अध्यक्षता में सर्किट हाउस के सभागार में कानपुर के समग्र विकास कार्यो की समीक्षा बैठक आयोजित की गई।बैठक में परियोजना/कार्यवार विभागीय अधिकारियों से कार्यो के प्रगति की समीक्षा की गई।
उन्होने कानपुर नगर में रिंग रोड के निर्माण कार्य की समीक्षा करते हुये निर्देश दिये कि शहर में यातायात की जाम की समस्या से निपटने के लिये शहर से बाहर रिंग रोड से जुडने वाले सभी चार हाइवे पर चार बस स्टेशन ग्राम समाज की भूमि पर बनाये जाने हेतु भूमि का चिन्हिांकन कराने के निर्देश दिये तथा कार्यो का निरन्तर अनुश्रवण किये जाने के भी निर्देश दिये।इसके साथ ही औद्योगिक विकास उपयोग के लिये ग्राम समाज की भूमि का चिन्हीकरण कराने व संबंधित विभागों द्वारा आपस में समन्वय स्थापित कर रिंग रोड के आस-पास विकास कराने तथा कानपुर विकास प्राधिकरण की महायोजना में भी रिंग रोड का कार्य सम्मिलित किये जाने के निर्देश दियें।उन्होनें गड्डामुक्त मार्ग कराये जाने हेतु समस्त संबंधित अधिकारियों को निर्देशित करते हुये कहा कि सभी विभाग अपने से संबंधित मार्गो को अनिर्वाय रूप से सडकों को गड्डामुक्त कराये तथा सडक के दोनों ओर सर्विस लेन पर अवैध कब्जों को हटाकर उसे बनाया जायें।
एयरर्पोट टर्मिनल निर्माण की समीक्षा में नगर आयुक्त द्वारा अवगत कराया गया कि नाला निर्माण हेतु शासन को धनराशि का मांग पत्र प्रेिषत किया गया है तथा आन्तरिक जल निकासी हेतु 40 लाख रूपयें से कार्य कराये जाने हेतु कार्यवाही की जा रही है।गंगापुल से जाजमऊ व रामादेवी तक के मार्ग को प्राथमिकता के आधार पर जनहित में ठीक कराये जाने के निर्देश दियें।उन्होनें जनपद में पुल निर्माण कार्य की समीक्षा करते हुये करबिगंवा का पुल 30 जून,2022 तक प्रत्येक दशा में पूर्ण कराये जाने तथा कैण्ट पुल के अवशेष कार्य व सर्विस लेन का निर्माण कार्य भी पूणर््ा किये जाने के निर्देश सेतु निगम के अधिकारी को दियें।उन्होनें निर्माण किये जा रहे जयपुरिया रेलवे क्रंासिग के पुल पर विद्युत पोल के शिफिटिंग के कार्य को कराये जाने के भी निर्देश दियें।
उन्होनें नगर निगम के अधिकारियों को निर्देशित करते हुये कहा कि बारिश के मौसम के पहले शहर को जल भराव की समस्या से निजात दिलाने के लिये सभी नालों कह सफाई एवं सिल्ट सफाई का कार्य पूर्ण करा लिया जाए।उन्होंने सभी संबधित विभागों के अधिकारियों को निर्देशित किया कि ग्राम समाज, व सभी सरकारी जमीन पर कब्जा करने वाले भूमाफियाओं को चिन्हित करते हुये उनके विरूद्व कडी कार्यवाही की जायें।उन्होनें विद्युत विभाग के अधिकारियों को निर्देशित किया कि जिन किन्हीं स्थानों पर बांस बल्लियों में विद्युत केबिल लगें हैं,उन्हें तत्काल हटाकर विद्युत पोल स्थापित किये जायें।

उन्होनें नर्वल तहसील के अर्न्तगत निर्माण की जा रही सैमसी झील के सभी सम्पर्क मार्गो के चौडीकरण एवं मरम्मत कराये जाने तथा झील में पर्याप्त जल की उपलब्धता के संबंध में निर्देश दियें। शहर में यातायात को सुगम बनाने के लिये प्रमुख चौराहों को चिन्हित कर जाम की समस्या से निजात हेतु कार्यवाही किये जाने के निर्देश दियें।
बैठक मेें एम0एल0सी0 श्री अरूण पाठक,विधायक श्री सुरेन्द्र मैथानी,
मण्डलायुक्त, डा0 राजशेखर,जिलाधिकारी श्रीमती नेहा शर्मा,संयुक्त पुलिस आयुक्त श्री आन्नद तिवारी,केडीए उपाध्यक्ष श्री अरविन्द सिंह,सीडीओ डा0महेन्द्र कुमार सहित सभी संबंधित अधिकारगण उपस्थित रहें।

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