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अप्रैल-अक्टूबर 2023 की अवधि के 436.48 बिलियन अमरीकी डॉलर की तुलना में अप्रैल-अक्टूबर 2024 के दौरान संचयी समग्र निर्यात 468.27 बिलियन अमरीकी डॉलर रहने का अनुमान है, अनुमानित वृद्धि 7.28 प्रतिशत की होगी

अक्टूबर 2024* के लिए भारत का कुल निर्यात (वस्तुएं और सेवाएं संयुक्त) 73.21 अरब अमेरिकी डॉलर होने का अनुमान है, जो अक्टूबर 2023 की तुलना में 19.08 प्रतिशत की सकारात्मक वृद्धि दर्शाता है। अक्टूबर 2024* के लिए कुल आयात (वस्तुएं और सेवाएं संयुक्त) 83.33 अरब अमेरिकी डॉलर होने का अनुमान है, जो अक्टूबर 2023 की तुलना में 7.77 प्रतिशत की सकारात्मक वृद्धि दर्शाता है।

तालिका 1: अक्टूबर 2024 के दौरान व्यापार*

    अक्टूबर 2024

(बिलियन अमेरिकी डॉलर में)

अक्टूबर 2023

(बिलियन अमेरिकी डॉलर में)

व्यापार निर्यात 39.20 33.43
आयात 66.34 63.86
सेवाएं* निर्यात 34.02 28.05
आयात 17.00 13.46
कुल व्यापार

(माल +सेवाएं) *

निर्यात 73.21 61.48
आयात 83.33 77.33
व्यापार संतुलन -10.12 -15.85

* नोट: रिजर्व बैंक द्वारा जारी सेवा क्षेत्र के नवीनतम डेटा सितंबर 2024 के लिए हैं। अक्टूबर 2024 का डेटा एक अनुमान है, जिसे रिजर्व बैंक की अगली रिलीज़ के आधार पर संशोधित किया जाएगा। (ii) अप्रैल-अक्टूबर 2023 और अप्रैल-जून 2024 के डेटा को तिमाही भुगतान संतुलन डेटा उपयोग से आनुपातिक आधार पर संशोधित किया गया है।

चित्र 1: अक्टूबर 2024 के दौरान कुल व्यापार*

अप्रैल-अक्टूबर 2024* के दौरान भारत का कुल निर्यात 468.27 बिलियन अमेरिकी डॉलर रहने का अनुमान है, जो 7.28 प्रतिशत की सकारात्मक वृद्धि दर्शाता है। अप्रैल-अक्टूबर 2024* के दौरान कुल आयात 531.51 बिलियन अमेरिकी डॉलर रहने का अनुमान है, जो 7.05 प्रतिशत की वृद्धि दर्शाता है।

तालिका 2: अप्रैल-अक्टूबर 2024 के दौरान व्यापार*

    अप्रैल-अक्टूबर 2024

(बिलियन अमेरिकी डॉलर में)

अप्रैल-अक्टूबर 2023

(बिलियन अमेरिकी डॉलर में)

व्यापार निर्यात 252.28 244.51
आयात 416.93 394.18
सेवाएं* निर्यात 215.98 191.97
आयात 114.57 102.32
कुल व्यापार

(माल +सेवाएं) *

निर्यात 468.27 436.48
आयात 531.51 496.50
व्यापार संतुलन -63.24 -60.02

 

चित्र 2: अप्रैल-अक्टूबर 2024* के दौरान कुल व्यापार

व्यापारिक आयात-निर्यात

  • अक्टूबर 2024 के दौरान व्यापारिक निर्यात 39.20 बिलियन अमरीकी डॉलर था, जबकि अक्टूबर 2023 में यह 33.43 बिलियन अमरीकी डॉलर था।
  • अक्टूबर 2024 के दौरान व्यापारिक आयात 66.34 बिलियन अमरीकी डॉलर था, जबकि अक्टूबर 2023 में यह 63.86 बिलियन अमरीकी डॉलर था।

चित्र 3: अक्टूबर 2024 के दौरान व्यापारिक व्यापार

  • अप्रैल-अक्टूबर 2024 के दौरान व्यापारिक निर्यात 252.28 बिलियन अमरीकी डॉलर था, जबकि अप्रैल-अक्टूबर 2023 के दौरान यह 244.51 बिलियन अमरीकी डॉलर था।
  • अप्रैल-अक्टूबर 2024 के दौरान व्यापारिक आयात 416.93 बिलियन अमरीकी डॉलर था, जबकि अप्रैल-अक्टूबर 2023 के दौरान यह 394.18 बिलियन अमरीकी डॉलर था।
  • अप्रैल-अक्टूबर 2024 के दौरान व्यापारिक व्यापार घाटा 164.65 बिलियन अमेरिकी डॉलर था, जबकि अप्रैल-अक्टूबर 2023 के दौरान यह 149.67 बिलियन अमेरिकी डॉलर था।

चित्र 4: अप्रैल-अक्टूबर 2024 के दौरान व्यापारिक व्यापार

  • अक्टूबर 2024 में गैर-पेट्रोलियम और गैर-रत्न एवं आभूषण निर्यात 31.36 बिलियन अमरीकी डॉलर रहा, जबकि अक्टूबर 2023 में यह 24.56 बिलियन अमरीकी डॉलर था।
  • अक्टूबर 2024 में गैर-पेट्रोलियम, गैर-रत्न और आभूषण (सोना, चांदी और कीमती धातु) आयात 39.21 बिलियन अमरीकी डॉलर रहा, जबकि अक्टूबर 2023 में यह 37.23 बिलियन अमरीकी डॉलर था।

तालिका 3: अक्टूबर 2024 के दौरान पेट्रोलियम और रत्न एवं आभूषण को छोड़कर व्यापार

  अक्टूबर 2024

(बिलियन अमेरिकी डॉलर में)

अक्टूबर 2023

(बिलियन अमेरिकी डॉलर में)

गैर-पेट्रोलियम निर्यात 34.61 27.55
गैर-पेट्रोलियम आयात 48.04 47.72
गैर-पेट्रोलियम और गैर-रत्न एवं आभूषण निर्यात 31.36 24.56
गैर-पेट्रोलियम और गैर-रत्न एवं आभूषण आयात 39.21 37.23

नोट: रत्न और आभूषण आयात में सोना, चांदी और मोती, कीमती और अर्ध-कीमती पत्थर शामिल हैं

चित्र 5: अक्टूबर 2024 के दौरान पेट्रोलियम और रत्न एवं आभूषण को छोड़कर व्यापार

  • अप्रैल-अक्टूबर 2024 में गैर-पेट्रोलियम और गैर-रत्न एवं आभूषण निर्यात 194.17 बिलियन अमरीकी डॉलर रहा, जबकि अप्रैल-अक्टूबर 2023 में यह 178.28 बिलियन अमरीकी डॉलर था।
  • अप्रैल-अक्टूबर 2024 में गैर-पेट्रोलियम, गैर-रत्न और आभूषण (सोना, चांदी और कीमती धातु) आयात 261.92 बिलियन अमरीकी डॉलर था, जबकि अप्रैल-अक्टूबर 2023 में यह 248.57 बिलियन अमरीकी डॉलर था।

तालिका 4: अप्रैल-अक्टूबर 2024 के दौरान पेट्रोलियम और रत्न एवं आभूषण को छोड़कर व्यापार

  अप्रैल-अक्टूबर 2024

(बिलियन अमेरिकी डॉलर में)

अप्रैल-अक्टूबर 2023

(बिलियन अमेरिकी डॉलर में)

गैर-पेट्रोलियम निर्यात 211.34 196.88
गैर-पेट्रोलियम आयात 309.78 294.08
गैर-पेट्रोलियम एवं गैर-रत्न एवं आभूषण निर्यात 194.17 178.28
गैर-पेट्रोलियम और गैर रत्न एवं आभूषण आयात 261.92 248.57

नोट: रत्न और आभूषण आयात में सोना, चांदी और मोती, कीमती और अर्ध-कीमती पत्थर शामिल हैं

 

चित्र 6: अप्रैल-अक्टूबर 2024 के दौरान पेट्रोलियम और रत्न एवं आभूषण को छोड़कर व्यापार

 

सेवा व्यापार

  • अक्टूबर 2024* के लिए सेवा निर्यात का अनुमानित मूल्य 34.02 बिलियन अमेरिकी डॉलर है, जबकि अक्टूबर 2023 में यह मूल्य 28.05 बिलियन अमेरिकी डॉलर था।
  • अक्टूबर 2024* के लिए सेवा आयात का अनुमानित मूल्य 17 बिलियन अमेरिकी डॉलर है, जबकि अक्टूबर 2023 में यह 13.46 बिलियन अमेरिकी डॉलर था।

चित्र 7: अक्टूबर 2024 के दौरान सेवा व्यापार*

  • अप्रैल-अक्टूबर 2024* के दौरान सेवा निर्यात का अनुमानित मूल्य 215.98 बिलियन अमेरिकी डॉलर है, जबकि अप्रैल-अक्टूबर 2023 में यह 191.97 बिलियन अमेरिकी डॉलर था।
  • अप्रैल-अक्टूबर 2024* के दौरान सेवा आयात का अनुमानित मूल्य 114.57 बिलियन अमेरिकी डॉलर है, जबकि अप्रैल-अक्टूबर 2023 में यह 102.32 बिलियन अमेरिकी डॉलर था।
  • अप्रैल-अक्टूबर 2024* के लिए सेवा व्यापार अधिशेष 101.41 बिलियन अमेरिकी डॉलर है, जबकि अप्रैल-अक्टूबर 2023 में यह 89.64 बिलियन अमेरिकी डॉलर था।

चित्र 8: अप्रैल-अक्टूबर 2024 के दौरान सेवा व्यापार*

  • अक्टूबर 2024 के दौरान पिछले वर्ष के इसी महीने की तुलना में सकारात्मक वृद्धि दर्ज होने वाले उत्पादों का ब्यौरा इस प्रकार है- चावल (85.79प्रतिशत), इलेक्ट्रॉनिक सामान (45.69प्रतिशत), इंजीनियरिंग सामान (39.37प्रतिशत), फ्लोर कवरिंग सहित जूट निर्माण (37प्रतिशत), सभी वस्त्रों का आरएमजी (35.06प्रतिशत), तंबाकू (34.3प्रतिशत), हस्तशिल्प को छोड़कर निर्यात। हस्तनिर्मित कालीन (32.66प्रतिशत), कॉफी (32.38प्रतिशत), मसाले (30.91प्रतिशत), कार्बनिक और अकार्बनिक रसायन (27.35प्रतिशत), अभ्रक, कोयला और अन्य अयस्क, संसाधित खनिजों सहित खनिज (25प्रतिशत), प्लास्टिक और लिनोलियम (23.3प्रतिशत), कालीन (16.78प्रतिशत), फल और सब्जियां (15.91प्रतिशत), धान्य तैयारी (अनाज) और विविध संसाधित वस्तुएं (13.35प्रतिशत), मानव निर्मित यार्न/फैब्स/मेड-अप्स आदि (12.89प्रतिशत), चमड़ा और चमड़ा उत्पाद (12.33प्रतिशत), चाय (9.3प्रतिशत), रत्न और आभूषण (8.77प्रतिशत), ड्रग्स और फार्मास्यूटिकल्स (8.21प्रतिशत), मांस, डेयरी और पोल्ट्री उत्पाद (7.71प्रतिशत), काजू (7.22प्रतिशत), कपास यार्न/फैब्स/मेड-अप्स, हैंडलूम उत्पाद आदि। (6.97प्रतिशत), समुद्री उत्पाद (3.88प्रतिशत) और तिलहन (2.65प्रतिशत)।
  • अक्टूबर 2024 के दौरान चांदी (-74.76प्रतिशत), मोती, कीमती और अर्ध-कीमती पत्थर (-29.46प्रतिशत), कोयला, कोक और ब्रिकेट, आदि (-28.34प्रतिशत), चमड़ा और चमड़ा उत्पाद (-19.41प्रतिशत), अखबारी कागज (-16.85प्रतिशत), परिवहन उपकरण (-11.82प्रतिशत), परियोजना सामान (-6.16प्रतिशत), उर्वरक, कच्चा और विनिर्मित (-3.99प्रतिशत), सोना (-1.43प्रतिशत), कार्बनिक और अकार्बनिक रसायन (-1.39प्रतिशत) का आयात पिछले वर्ष के इसी महीने की तुलना में नकारात्मक वृद्धि दिखाता है।
  • अप्रैल-अक्टूबर 2023 की तुलना में अप्रैल-अक्टूबर 2024* के दौरान सेवाओं के निर्यात में 12.51 प्रतिशत की वृद्धि होने का अनुमान है।
  • निर्यात के लिए मूल्य में परिवर्तन के संदर्भ में अक्टूबर 2024 की तुलना में अक्टूबर 2023 में सकारात्मक वृद्धि वाले शीर्ष 5 देश हैं, सिंगापुर (197.39प्रतिशत), संयुक्त अरब अमीरात (43.32प्रतिशत), यूएसए (11.47प्रतिशत), यूके (42.12प्रतिशत) और ऑस्ट्रेलिया (60.41प्रतिशत)।
  • निर्यात के लिए मूल्य में परिवर्तन के संदर्भ में अप्रैल-अक्टूबर 2024 की तुलना में अप्रैल-अक्टूबर 2023 में सकारात्मक वृद्धि प्रदर्शित करने वाले शीर्ष 5 देश हैं- नीदरलैंड (32.92प्रतिशत), संयुक्त अरब अमीरात (15.86प्रतिशत), यूएसए (6.31प्रतिशत), सिंगापुर (20.78प्रतिशत) और यूके (16.23प्रतिशत) हैं।
  •  आयात के लिए स्रोत मूल्य में परिवर्तन के संदर्भ में अक्टूबर 2024 की तुलना में अक्टूबर 2023 में वृद्धि प्रदर्शित करने वाले शीर्ष 5 देश हैं- संयुक्त अरब अमीरात (70.37प्रतिशत), रूस (25.98प्रतिशत), ताइवान (82.76प्रतिशत), पेरू (142.69प्रतिशत) और अंगोला (425.33प्रतिशत)।
  • आयात के लिए स्रोत मूल्य में परिवर्तन के संदर्भ में अप्रैल-अक्टूबर 2024 की तुलना में अप्रैल-अक्टूबर 2023 में वृद्धि प्रदर्शित करने वाले शीर्ष 5 देश हैं- संयुक्त अरब अमीरात (55.12प्रतिशत), चीन निर्यात रक़म (9.8प्रतिशत), रूस (8.85प्रतिशत), ताइवान (45.45प्रतिशत) और अंगोला (99.84प्रतिशत)।

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सकारात्मक मनोविज्ञान के द्वारा मानसिक स्वास्थ्य संवर्धन” विषय पर अतिथि व्याख्यान तथा भाषण प्रतियोगिता आयोजित

भारतीय स्वरूप संवाददाता कानपुर, एस.एन. सेन बी.वी.पी.जी. कॉलेज के मनोविज्ञान विभाग द्वारा एक अतिथि व्याख्यान तथा भाषण प्रतियोगिता का आयोजन किया गया जिसका विषय *”सकारात्मक मनोविज्ञान के द्वारा मानसिक स्वास्थ्य संवर्धन”* था। कार्यक्रम का शुभारंभ सरस्वती पूजन एवं दीप प्रज्वलन से किया गया। इसके बाद अतिथि वक्ता डॉ आभा सक्सेना, कॉलेज की प्राचार्या व निर्णायक मंडल की सदस्य शिक्षिकाओं का स्वागत व सम्मान किया गया। स्वागत प्रक्रिया के बाद कॉलेज की प्राचार्य प्रो०डॉ सुमन ने अपने आशीर्वचनों से कार्यक्रम के सफल आयोजन की शुभकामनाएं दी। उन्होंने कहा कि वर्तमान समय के तनावपूर्ण प्रभाव को देखते हुए मानसिक स्वास्थ्य संवर्धन के लिए प्रयास किया जाना अत्यंत आवश्यक है। इसके बाद मनोविज्ञान विभागाध्यक्षा डॉ मोनिका सहाय ने कार्यक्रम के विषय पर प्रकाश डालते हुए बताया कि सकारात्मक मनोविज्ञान के माध्यम से मानसिक स्वास्थ्य में किस प्रकार वृद्धि की जा सकती है और व्यक्ति अपना जीवन और अधिक बेहतर व सकारात्मक बना सकते हैं। इसी क्रम को आगे बढ़ते हुए आमंत्रित मुख्य वक्ता ने सकारात्मक मनोविज्ञान तथा मानसिक स्वास्थ्य की महत्ता को स्पष्ट किया तथा दोनों के संबंध पर प्रकाश डाला। इसके बाद प्रतियोगिता प्रारंभ की गई जिसमें प्रतिभागी छात्राओं ने अपने भाषण प्रस्तुत किये। प्रतियोगिता के निर्णायक मंडल में डाॅ पूजा गुप्ता तथा डॉ अनामिका राजपूत सम्मिलित रहे। प्रतियोगिता के निर्णय इस प्रकार रहे –
प्रथम पुरस्कार – महिमा यादव
द्वितीय पुरस्कार – अंजलि
तृतीय पुरस्कार – स्नेहा सिंह
सांत्वना पुरस्कार – सुनीता शर्मा
प्रतियोगियों को पुरस्कार वितरण के बाद कार्यक्रम समापन प्रक्रिया व धन्यवाद ज्ञापन विभाग की प्रवक्ता असिस्टेंट प्रोफेसर सुश्री प्रीति यादव ने किया। कार्यक्रम संचालन में विभागीय प्रवक्ता असिस्टेंट प्रोफेसर सुश्री मयूरिका गुप्ता ने योगदान दिया। कार्यक्रम में कॉलेज की अन्य शिक्षिकाएं व छात्राएं उपस्थित रही जिससे कार्यक्रम गरिमामय तरीके से संपूर्ण हो सका।

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डाबर रेड पेस्ट, इंडियन डेंटल एसोसिएशन (आईडीए) से प्रतिष्ठित सील ऑफ एक्सेप्टेन्स हासिल करने वाला भारत का पहला स्वदेशी आयुर्वेदिक ब्राण्ड बना

भारतीय स्वरूप संवाददाता कानपुर : एक ऐतिहासिक उपलब्धि हासिल करते हुए डाबर रेड पेस्ट इंडियन डेंटल एसोसिएशन (आईडीए) से प्रतिष्ठित सील ऑफ एक्सेप्टेन्स हासिल करने वाला भारत का पहला स्वदेशी आयुर्वेदिक ब्राण्ड बन गया है। वर्ल्ड डेंटल शो के दौरान आईडीए और डाबर रैड पेस्ट के बीच इस साझेदारी की घोषणा की गई। शो में देश भर से 500 से अधिक डेंटिस्ट (दंत चिकित्सक) और डेंटिस्ट्री (दंत चिकित्सा) पढ़ने वाले छात्र शामिल हुए थे। डेंटिस्ट इस घोषणा का स्वागत कर रहे हैं क्योंकि वे अब आयुर्वेद के प्रमाणित फॉर्मूले को अब अपनी ओरल केयर प्रेक्टिस में शामिल कर सकते हैं। पिछले 5000 सालों से आयुर्वेदिक चिकित्सा को भरोसेमंद माना जाता रहा है। वैज्ञानिक जांच के आधार पर डाबर रेड पेस्ट को इंडियन डेंटल एसोसिएशन से यह एक्सेप्टेन्स मिली है जो इस बात को तय करती है कि प्रोडक्ट सुरक्षा और प्रभाविता के मानकों पर खरा उतरता है। जांच के परिणामों में साफ हो गया है कि यह प्रोडक्ट दांतों की समस्याओं को कम करने और ओरल हेल्थ को बनाए रखने में कारगर है, अगर इसे निर्देशानुसार इस्तेमाल किया जाए। ऐसे में यह सील ऑफ एक्सेप्टेन्स, विज्ञान और आयुर्वेद के रिश्ते को नया आयाम देगी। इसके अलावा यह डाबर के लिए बेहद गर्व की बात है जो इस बैज को हासिल करने वाला पहला स्वदेशी ब्राण्ड बन गया है।’ डॉ अशोक ढोबले, मानद महासचिव, आईडीए ने कहा। यह प्रमाणित हो चुका है कि भारत का नंबर 1 आयुर्वेदिक पेस्ट- डाबर रेड पेस्ट दांतों की 7 समस्याओं से निपटने में कारगर है जैसे दांत में दर्द, मसूड़ों से खून आना, सांस में बदबू, कैविटी, दांतों का पीलापन, जर्म्स और प्लॉक जमना। 13 शक्तिशाली आयुर्वेदिक अवयवों से बना यह अनूठा फॉर्मूला मुँह की सम्पूर्ण देखभाल करता है वर्ल्ड डेंटल शो के दौरान दंत चिकित्सकों ने डाबर रेड पेस्ट के पीछे मौजूद विज्ञान का समझने में उत्सुकता जताई। इस अवसर पर प्रोडक्ट के इन्ग्रीडिएन्ट्स, उनक वैज्ञानिक नामों और फायदों को डिस्प्ले किया गया, ताकि चिकित्सक इनके फायदों के बारे में जान सकें। अभिषेक जुगरान, ईवीपी मार्केटिंग, डाबर इंडिया लिमिटेड ने इस अवसर पर खुशी ज़ाहिर करते हुए कहा, ‘‘आईडीए की सील डाबर रेड पेस्ट के पेटेंटेड फॉर्मूले की दक्षता और सुरक्षा का प्रमाण है। डाबर रेड पेस्ट इस सील को हासिल करने वाला भारत का पहला स्वदेशी ब्राण्ड बन गया है। इस अवसर पर हम आईडीए की सराहना करना चाहेंगे, जो आम लोगों के मुख के स्वास्थ्य में सुधार लाने के लिए प्रयासरत है और ऐसे टूथपेस्ट को स्वीकार्यता प्रदान दे रहा है, जो ओरल हेल्थ को सुनिश्चित करता है। उपभोक्ता पूरे भरोसे के साथ विज्ञान और आयुर्वेद के इस संयोजन डाबर रेड पेस्ट को चुन सकते हैं और किसी भी तरह की दांतों की समस्याओं से सुरक्षित रह सकते हैं।’ वैज्ञानिक रूप से प्रमाणित हो चुका है कि डाबर रेड पेस्ट दांतों की 7 समस्याओं से सुरक्षा प्रदान कर बेहतर ओरल हेल्थ को सुनिश्चित करता है

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दयानंद गर्ल्स पी जी कॉलेज में भूगोल विभाग में हुआ आपदा प्रबंधन पर सेमिनार

भारतीय स्वरूप संवाददाता कानपुर दयानंद गर्ल्स पी जी कॉलेज, कानपुर में भूगोल विभाग के द्वारा स्नातक एवं स्नातककोत्तर कक्षाओं में पढ़ने वाली छात्राओं के लिए डिजास्टर मैनेजमेंट (आपदा प्रबंधन) पर एक संगोष्ठी का आयोजन किया गया।

जिसमें छात्राओं ने पावर पॉइंट प्रेजेंटेशन के द्वारा आपदा प्रबंधन से संबंधित विभिन्न पहलुओं पर अपने विचार रखें। महाविद्यालय प्राचार्या प्रो वंदना निगम ने बताया कि इस संगोष्ठी का उद्देश्य छात्राओं को विभिन्न प्रकार की प्राकृतिक एवं मनुष्यकृत आपदाओं से संबंधित संपूर्ण जानकारी प्रदान करना तथा आपदाओं से बचने हेतु किस प्रकार की प्रबंधन प्रणाली की आवश्यकता है ? इन विषयों की जानकारी देना है। महाविद्यालय की सेल्फ फाइनेंस डायरेक्टर प्रो अर्चना वर्मा ने छात्राओं के लिए इस प्रकार की संगोष्ठियों के आयोजन को अति महत्वपूर्ण बताया तथा भूगोल विभाग को आपदा प्रबंधन जैसे समीचीन विषय पर संगोष्ठी आयोजित करने के लिए शुभकामनाएं दी। इस संगोष्ठी में कुल 25 छात्राओं के द्वारा अपने प्रेजेंटेशन दिए गए तथा लगभग 200 छात्राएं उपस्थिति रही। संगोष्ठी की अध्यक्षता भूगोल विभाग प्रभारी डॉ संगीता सिरोही ने तथा संचालन संगोष्ठी की कन्वीनर डॉ अंजना श्रीवास्तव ने किया । संगोष्ठी की संयोजिका डॉ शशि बाला सिंह तथा सहसंयोजिका श्रीमती श्वेता गोंड रही।

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केन्द्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री अमित शाह ने गुजरात के साळंगपुर स्थित श्री कष्टभंजन देव हनुमान जी मंदिर में दर्शन व पूजन कर 200 करोड़ रूपए की लागत से बने 1100 कमरे के यात्री भवन का उद्घाटन किया

अपने संबोधन की शुरूआत में श्री अमित शाह ने सभी देशवासियों को दीपावली की शुभकामनाएं दीं। उन्होंने कहा कि आज नरक चतुर्दशी के दिन यहां एक भव्य यात्री भवन का निर्माण हुआ है। उन्होंने कहा कि इस यात्री भवन को एक पूर्ण हरित यात्री भवन कहा जा सकता है। उन्होंने कहा कि इस यात्री भवन में दूर-दूर से आने वाले लोगों के विश्राम की व्यवस्था की गई है। श्री शाह ने कहा कि लगभग 200 करोड़ रूपये की लागत से 9 लाख वर्ग फीट स्थान और 1100 से ज्यादा कमरों वाले इस यात्री भवन का निर्माण दो साल की अल्पावधि में ही संपन्न कर लिया गया है।

केन्द्रीय गृह मंत्री ने कहा कि इस मंदिर में हनुमान जी महाराज की यह मूर्ति गोपालानंद जी महाराज की भक्ति और शक्ति से स्थापित हुई है। उन्होंने कहा कि यह स्थान स्वामीनारायण भगवान के प्रसाद का भी स्थान है। उन्होंने कहा कि इतना समर्पण, सेवा भाव और स्वामीनारायण भगवान के प्रति ऐसी श्रद्धा होने के बाद भी गोपालानंद स्वामी जी बहुत विनम्र हैं और ये बहुत कम लोगों में होती है। उन्होंने कहा कि यह यात्री भवन आने वाले कई वर्षों तक यात्रियों को आश्रय और दादा के दर्शन का मौका भी देगा।

अमित शाह ने कहा कि हनुमान जी महाराज के गुणों का वर्णन कोई कर नहीं सकता और हमारे शास्त्रों में कहा गया है कि सात चिरंजीव में से एक हनुमान जी महाराज हैं। उन्होंने कहा कि तुलसीदास जी ने हनुमान जी महाराज को ज्ञान गुण सागर कहा है। श्री शाह ने कहा कि जब एक आदर्श भक्त, आदर्श योद्धा, आदर्श मित्र और एक आदर्श दूत अपनी इन सभी शक्तियों को प्रभु श्री राम के चरणों में समर्पित करता है तब हनुमान जी महाराज बन चिरंजीवी होता है।

केन्द्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री ने कहा कि यह कष्टभंजन देव हनुमान जी मंदिर युवाओं के लिए आध्यात्म और भक्ति की प्रेरणा का स्थान बनने वाला है। उन्होंने कहा कि हमारे यहां हनुमान जी महाराज की कई प्रतिमाएं हैं और उनके अनेकानेक गुण होते हैं। श्री शाह ने कहा कि चौमुखी मूर्ति हो तो शत्रुओं का नाश, संकटमोचन हो तो संकट से मुक्ति, दक्षिणामुखी हो तो भय और परेशानी से मुक्ति, पंचमुखी हो तो अहिरावण यानी दुष्ट वृत्ति से मुक्ति पाने के लिए पूजा होती है, एकादश हो तो राक्षसी वृत्ति से और कष्टभंजन की मूर्ति हो तो शनि समेत सभी कष्टों का भंजन होता है।

केन्द्रीय गृह मंत्री ने कहा कि आज सरदार पटेल की 149वीं जन्म जयंती है। उन्होंने कहा कि सरदार पटेल जी ने एक अखंड और प्रचंड शक्तिशाली भारत के निर्माण का संकल्प किया था। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी द्वारा सरदार साहब की 150वीं जयंती को दो साल तक मनाने का निर्णय, सरदार साहब के विचार व सिद्धांत के प्रचार-प्रसार के साथ-साथ युवाओं को देश के प्रति निष्ठा व त्याग की प्रेरणा देगा।

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सेवा से सीखे के अंतर्गत डी जी कॉलेज के एनएसएस वॉलिंटियर्स के द्वारा उर्सला अस्पताल में किया गया कार्यक्रम

भारतीय स्वरूप संवाददाता कानपुर दिवाली माई भारत वाली : सेवा से सीखे के अंतर्गत डी जी कॉलेज के एनएसएस वॉलिंटियर्स के द्वारा उर्सुला अस्पताल में किया गया कार्यक्रम*
भारत सरकार के युवा कार्यक्रम एवं खेल मंत्रालय की पहल पर दिवाली माय भारत वाली कार्यक्रम के अंतर्गत राष्ट्रीय सेवा योजना इकाई, दयानंद गर्ल्स पी जी कॉलेज, कानपुर की कार्यक्रम अधिकारी तथा कानपुर नगर न एस एस नोडल अधिकारी डॉ संगीता सिरोही के निर्देशन में आज दिनांक 30 अक्टूबर , 2024 को सिविल लाइंस, कानपुर स्थित उर्सला अस्पताल में वॉलिंटियर्स के द्वारा डॉक्टर्स एवम् हॉस्पिटल स्टाफ के साथ मिलकर कार्यक्रम किया गया। जिसमें छात्राओं ने अस्पताल में साफ सफाई एवं स्वच्छता करने में सहयोग किया तथा ओपीडी में मरीजो की सहायता एवं सेवा की ताकि दिवाली के पर्व को खुशियों के साथ सौहार्दपूर्ण तरीके से मनाया जा सके। वॉलिंटियर्स टीम लीडर्स पलक झा, खुशी शुक्ला, रोशनी कश्यप, नूर फातिमा आकांक्षा यादव अंतर कश्यप फिरदौस, श्रद्धा, सान्या, कहकशा, आंचल शुक्ला समेत समस्त एनएसएस वॉलिंटियर्स का योगदान सराहनीय रहा।

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डी जी कॉलेज में माई भारत आउटरीच कार्यक्रम सम्पन्न

भारतीय स्वरूप संवाददाता कानपुर 9 अक्टूबर राष्ट्रीय सेवा योजना इकाई दयानंद गर्ल्स पी जी कॉलेज कानपुर में कार्यक्रम अधिकारी डॉ संगीता सिरोही ने महाविद्यालय में एक दिवसीय प्रशिक्षण कार्यक्रम रखा जिसका विषय “माय भारत पोर्टल पर रजिस्ट्रेशन” कैसे करें , सी वी कैसे बनाए, ई एल पी कैसे एप्लाई करे एवं वॉलिंटियर्स ऑफ भारत के द्वारा अपने कार्य को और अधिक उपयोगी कैसे बनाएं ? आदि पर विस्तार पूर्वक जानकारियां दी।

इस प्रशिक्षण में महाविद्यालय की 50 छात्राओं ने प्रतिभाग किया।

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दिवाली माई भारत वाली कार्यक्रम के अंतर्गत डी जी कॉलेज के एनएसएस वॉलिंटियर्स के द्वारा यातायात प्रबंधन

 

भारतीय स्वरूप संवाददाता कानपुर 29 अक्टूबर भारत सरकार के युवा कार्यक्रम एवं खेल मंत्रालय की पहल पर दिवाली में भारत वाली कार्यक्रम के अंतर्गत राष्ट्रीय सेवा योजना इकाई, दयानंद गर्ल्स पी जी कॉलेज, कानपुर की कार्यक्रम अधिकारी तथा कानपुर नगर की नोडल अधिकारी डॉ संगीता सिरोही के निर्देशन में आज दिनांक 29 अक्टूबर 2024 को सिविल लाइंस कानपुर स्थित मर्चेंट चेंबर चौराहे पर वॉलिंटियर्स के द्वारा यातायात पुलिस, पुलिस कमिश्नरेट, कानपुर नगर के सहयोग से यातायात प्रबंधन किया गया। जिसमें छात्राओं ने ट्रैफिक कंट्रोल किया तथा सड़क पर आते जाते वाहन चालकों को सिग्नल्स तथा यातायात के नियमों के बारे में जानकारी देते उनका पालन करने की अपील की ताकि दिवाली के पर्व को खुशियों के साथ सौहार्दपूर्ण तरीके से मनाया जा सके।

इस अवसर पर यातायात उप निरीक्षक श्री शशिकांत यादव व पुलिस हेड कांस्टेबल श्री मनोज जी ने अपनी टीम के साथ कार्यक्रम को सफल बनाने में में सक्रिय सक्रिय योगदान किया। एसीपी ट्रैफिक श्री शिखर जी ने युवा कार्यक्रम एवं खेल मंत्रालय भारत सरकार के माय भारत पोर्टल के माध्यम से चलाए जा रहे इस महत्वपूर्ण कार्यक्रम दिवाली में भारत वाली तथा वॉलिंटियर्स के द्वारा किए जा रहे सतत कार्यों की भूरी भूरी प्रशंसा करते हुए उन्हें अपनी शुभकामनाएं दी तथा कहा कि यह विकसित भारत के निर्माण की और एक महत्वपूर्ण कदम है। वॉलिंटियर्स टीम लीडर्स पलक झा, खुशी शुक्ला, रोशनी कश्यप, नूर फातिमा आकांक्षा यादव अंतर कश्यप फिरदौस, श्रद्धा, सान्या, कहकशा, आंचल शुक्ला समेत समस्त एनएसएस वॉलिंटियर्स का योगदान सराहनीय रहा।

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कानपुर विद्या मंदिर महिला महाविद्यालय में दिव्यांग डेवलपमेंट सोसायटी एव समाजशास्त्र विभाग के संयुक्त तत्वावधान में दिव्यांग बच्चों ने दीवाली के सुंदर उत्पादों की प्रदर्शनी लगाई गई

भारतीय स्वरूप संवाददाता कानपुर विद्या मंदिर महिला महाविद्यालय में दिव्यांग डेवलपमेंट सोसायटी एवम समाजशास्त्र विभाग के संयुक्त तत्वावधान द्वारा दिव्यांग बच्चों के द्वारा बनाए गए दीवाली के सुंदर उत्पादों की प्रदर्शनी लगाई गई। प्राचार्या प्रो पूनम विज ने दिव्यांग बच्चों के द्वारा बनाए गए उत्पादों की भूरि भूरि प्रशंसा की और कई उत्पादों की खरीदारी कर प्रदर्शनी का शुभारंभ किया। प्राचार्या ने छात्राओं को संबोधित करते हुए कहा कि हमें अपनी समर्थ से दूसरों की सहायता करनी चाहिए। जब हम सभी ऐसा करेंगे, तभी एक अच्छे समाज का निर्माण हो सकेगा । इसी की पहल, कानपुर विद्या मंदिर महिला महाविद्याय के समाजशास्त्र विभाग द्वारा दिव्यांग डेवलपमेंट सोसाइटी के साथ समझौता ज्ञापन करके की गई है। जो समय समय पर महाविद्यालय द्वारा आयोजित कार्यक्रमों दिव्यांग बच्चों के लिए भी प्रशंसनीय कार्य करता रहता है। जिससे महाविद्यालय के बच्चों के मन में दिव्यंगता के प्रति सहयोग की भावना उत्पन्न हो सके। इस प्रदर्शनी में सभी शिक्षिकाओं और बच्चों ने उत्साहपूर्वक प्रतिभाग लिया। प्रदर्शनी को सफल बनाने हेतु समुचित आयोजन डॉ पूर्णिमा शुक्ला, विभागाध्यक्ष,समाजशास्त्र विभाग द्वारा किया गया।

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वीरांगनाओं की कहानी छात्राओं की जुबानी

भारतीय स्वरूप संवाददाता  कानपुर 22 अक्टूबर क्राइस्ट चर्च कॉलेज द्वारा मिशन शक्ति फेज ५ के अंतर्गत प्राचार्य प्रो. जोसेफ डेनियल के दिशा निर्देशन में मिशन शक्ति प्रभारी प्रो. मीतकमल द्वारा ” *वीरांगनाओं की कहानी उनकी जुबानी* ” कार्यक्रम का आयोजन किया गया। इस कार्यक्रम में हमारे देश की आजादी में अपना सर्वस्व न्योछावर करने वाली वीरांगनाओं की कहानी रैंप वॉक के माध्यम से प्रदर्शित की। इसमें रानी लक्ष्मीबाई,रानी बेगम हजरत महल, सरोजनी नायडू,आदि की वीरगाथाओं का वर्णन छात्राओं के द्वारा किया गया। इस कार्यक्रम के निर्णायक मंडल के सदस्यों में कॉलेज की उप प्राचार्या प्रो. श्वेता चंद, डॉ.सोफिया साहब, प्रो.विभा दीक्षित मौजूद रहे।  रैम्प वॉक में प्रथम, द्वितीय, तृतीय स्थान क्रमशः साक्षी गुप्ता, अनमता शहाबुद्दीन, स्वास्तिक दुबे ने प्राप्त किया। कार्यक्रम का संचालन अंजली सचान द्वारा किया गया। को कर्यक्यूलर प्रोग्राम के समन्वयक प्रो .संजय सक्सेना ने *”काकोरी ट्रेन एक्शन*” पर एक नाट्य मंचन बच्चों के द्वारा करवाय । इस नाट्य की निर्देशिका प्रो○ मीतकमल और सह- निर्देशक कांची त्रिपाठी व सुंदरम मिश्रा रहे। इसमें चंद्रशेखर आज़ाद की भूमिका सुंदरम मिश्रा,राम प्रसाद बिस्मिल कुशल गुप्ता, राजेंद्र लहर,अब्दुल वासिफ रोशन सिंह मनोज बाजपेई द्वारा बहुत ही सुंदर प्रदर्शन किया जिसमें पूरे पिछले इतिहास की छवि एक बार फिर आंखों के सामने नाट्य मंचन के द्वारा देखने को मिली। आज के इस कार्यक्रम में रित्विक द्विवेदी, प्रियांशी सिंह , शाजिया बानो,शोभित गुप्ता आदि लोगों ने अपना विशेष योगदान दिया।

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