मुख्य चुनाव आयुक्त श्री राजीव कुमार ने आम चुनाव 2024 के लिए कार्यक्रम की घोषणा पर एक संवाददाता सम्मेलन के दौरान चुनावी सत्यनिष्ठा के लिए धन, बाहुबल और आदर्श आचार संहिता के उल्लंघन के साथ-साथ गलत सूचना को एक चुनौती के रूप में पहचाना है। विश्व स्तर पर कई लोकतंत्रों में गलत सूचना और फर्जी खबरों का प्रसार बढ़ती चिंता का विषय है। इस देखते हुए निर्वाचन आयोग की अभिनव और सक्रिय पहल यह सुनिश्चित करने का एक प्रयास है कि मतदाताओं को चुनावी प्रक्रिया के दौरान सटीक और प्रामाणिक जानकारी मिल सके।
‘मिथक बनाम वास्तविकता रजिस्टर’ चुनाव अवधि के दौरान प्रसारित मिथकों और गलत जानकारी को दूर करने के लिए व्यापक तथ्यात्मक जानकारी प्रदान करता है ताकि मतदाता को संपूर्ण जानकारी उपलब्ध हो और वह चुनाव संबंधी निर्णय ले सके। इसे उपयोगकर्ता के अनुकूल प्रारूप में डिजाइन किया गया है जिसमें व्यापक रूप से ईवीएम/वीवीपीएटी, मतदाता सूची/मतदाता सेवाओं, चुनाव संचालन और अन्य के बारे में मिथकों एवं गलत सूचना के क्षेत्रों को शामिल किया गया है। यह रजिस्टर पहले से ही चुनाव से संबंधित फर्जी जानकारी, सोशल मीडिया प्लेटफार्मों पर प्रसारित संभावित मिथकों, महत्वपूर्ण विषयों पर अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न और सभी हितधारकों के लिए विभिन्न खंड के तहत संदर्भ सामग्री प्रदान करता है। रजिस्टर को नियमित आधार पर अपडेट किया जाएगा।
सभी हितधारकों को मिथक बनाम वास्तविकता रजिस्टर में दी गई जानकारी के साथ किसी भी चैनल के माध्यम से उनके द्वारा प्राप्त किसी भी संदिग्ध जानकारी को सत्यापित और पुष्ट करने के लिए प्रोत्साहित किया जाता है। इस मंच का उपयोग जानकारी को सत्यापित करने, गलत सूचना के प्रसार को रोकने, मिथकों को दूर करने और आम चुनाव 2024 के दौरान प्रमुख मुद्दों के बारे में अवगत रहने के लिए किया जा सकता है। उपयोगकर्ता रजिस्टर से विभिन्न सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर जानकारी भी साझा कर सकते हैं।